बालेश्वर। फकीर मोहन विश्वविद्यालय के पर्यावरण विज्ञान पीजी विभाग द्वारा विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग तथा साइंस एंड इंजीनियरिंग रिसर्च बोर्ड (सीईआरबी), भारत सरकार के सहयोग से “कोस्टल ज़ोन एनवायरनमेंट एंड लाइवलीहुड चैलेंजेज़” पर दो दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन किया गया।
उद्घाटन समारोह की अध्यक्षता विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो संतोष कुमार त्रिपाठी ने की। इस अवसर पर पीजी काउंसिल के अध्यक्ष प्रो भास्कर बेहेरा, आमंत्रित अतिथि प्रो जय कृष्ण पाणिग्रही (सचिव, ओडिशा पर्यावरण सोसाइटी, भुवनेश्वर) और मुख्य अतिथि प्रो सुभाष चंद्र (पूर्व प्रोफेसर, पर्यावरण विज्ञान, कल्याणी विश्वविद्यालय) उपस्थित रहे।
सम्मेलन का उद्देश्य तटीय क्षेत्रों में बढ़ते मानवीय दबाव और प्राकृतिक घटनाओं से हो रहे परिवर्तनों पर चर्चा करना है। तटीय क्षेत्र हमेशा से एक गतिशील प्रणाली रहे हैं, लेकिन हाल के वर्षों में इन पर नकारात्मक प्रभाव तेजी से बढ़े हैं। ऐसे में सतत विकास को अपनाकर इन प्रभावों को नियंत्रित करने की आवश्यकता है।
तकनीकी सत्रों में निम्नलिखित विषयों पर चर्चा हुई जिनमें तटीय क्षेत्रों पर जलवायु परिवर्तन और इसके प्रभाव, तटीय जल संसाधनों का प्रबंधन, खारे पानी की घुसपैठ और फ्लोराइड प्रदूषण, तटीय क्षेत्रों में पर्यावरण प्रदूषण, नियंत्रण और अपशिष्ट प्रबंधन, तटीय खनन के अवसर और पर्यावरणीय चुनौतियां, तटीय पर्यावरण प्रभाव आकलन, तटीय जैव विविधता की निगरानी और संरक्षण, समुद्री और खाड़ी क्षेत्र में सूक्ष्मजीव विविधता का महत्व, टिकाऊ कृषि के लिए जैव संसाधनों का उपयोग, तटीय क्षेत्रों में जलकृषि के अवसर और चुनौतियां एवं ओडिशा तट पर मछली पकड़ने की प्रवृत्ति और वर्तमान स्थिति प्रमुख विषय थे।
सम्मेलन के संयोजक डॉ प्रकाश चंद्र मिश्र और आयोजन सचिव डॉ मिहिर तनय दास ने सम्मेलन के सफल आयोजन की जिम्मेदारी निभाई।
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