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आत्महत्या करने वालों में अधिकांश युवा शामिल
भुवनेश्वर. ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में आत्महत्या की प्रवृति बढ़ती नजर आ रही है. पिछले साल की तुलना में आत्महत्या करने वालों की संख्या में इजाफा हुआ है. राजधानी में बीते छह माह के दौरान 150 ने मौत को गले लगाया है, जिसमें अधिकांश युवा शामिल हैं. यह जानकारी देते हुए भुवनेश्वर के डीसीपी उमा शंकर दास ने बताया कि इस साल के पहले छह महीनों में शहर में आत्महत्या के लगभग 150 मामले सामने आए हैं, जबकि 2020 में इसी अवधि के दौरान 140 मामले दर्ज किए गए थे. डीसीपी ने आज यहां पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि आधुनिक समाज में आत्महत्या एक बड़ी समस्या के रूप में तेजी से उभर रही है. हालांकि आत्महत्या को रोकने में पुलिस की ज्यादा भूमिका नहीं होती है, लेकिन जब भी मदद मांगी जाती है, तो पुलिस उस व्यक्ति को काउंसलिंग के लिए भेजती है. आत्महत्याओं की संख्या को रोकने और कम करने में समाज, दोस्तों और परिवार के सदस्यों की महत्वपूर्ण भूमिका है.
उन्होंने कहा कि यह देखा गया है कि मौत को गले लगाने की मानसिक स्थिति में रहने वाले व्यक्तियों को उचित समय पर काउंसिलिंग या पारिवारिक सहयोग मिल जाता है, तो कई आत्महत्याओं को रोका जा सकता है. डीसीपी दाश ने कहा कि हम सभी को एक संदेश देना चाहते हैं कि हर जीवन कीमती है. इसे उदास होने में बर्बाद न करें. जिस परिवार को वे पीछे छोड़ते हैं, वह हमेशा के लिए दुख में रहता है. दाश ने कहा कि न्होंने कहा कि युवाओं में आत्महत्या करने की प्रवृत्ति अधिक पाई गई है.