सुधाकर कुमार शाही, कटक
मृतक पारलाखेमुंडी सहायक वन संरक्षक (एसीएफ) सौम्य रंजन महापात्र की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद राज्य के उच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका दायर की गई है, जिसमें मामले की सीबीआई जांच की मांग की गई है.
भारत विकास परिषद नामक एक सामाजिक संगठन ने मंगलवार को केंद्रीय गृह सचिव, राज्य के मुख्य सचिव, राज्य के गृह सचिव, राज्य के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) के साथ-साथ गजपति एसपी और पारलाखेमुंडी पुलिस स्टेशन आईआईसी प्रतिवादी बनाते हुए केंद्रीय एजेंसी द्वारा ओडिशा वन सेवा (ओएफएस) अधिकारी की रहस्यमय मौत की जांच के लिए उड़ीसा उच्च न्यायालय का रुख किया है.
जानकारी के अनुसार, कई लोगों को संदेह है कि एसीएफ को मौत के घाट उतार दिया गया है और दोषियों को पकड़ने के लिए विस्तृत जांच की आवश्यकता है. इसके अलावा मामले में आरोपी कुछ अधिकारियों (मृतक अधिकारी के परिवार के सदस्यों द्वारा) को पुलिस ने जल्दबाजी में क्लीनचिट दे दी.
सोमवार को जारी मृतक एसीएफ की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में कहा गया है कि युवा अधिकारी की जलने से मौत हुई थी. हालांकि एसीएफ के परिवार के सदस्यों ने सौम्य रंजन की मौत में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए दावों का खंडन किया है.