परमबीर सिंह ने अपनी याचिका में कहा है कि 100 करोड़ वसूली मामले की जांच हाई कोर्ट के निर्देश पर सीबीआई और ईडी कर रही हैं। इस स्थिति में चांदीवाल आयोग की जांच का कोई अर्थ नहीं है। चांदीवाल आयोग ने 6 अगस्त को उन्हें पूछताछ के लिए बुलाया है, इसलिए हाई कोर्ट को चांदीवाल आयोग के समक्ष उपस्थित न होने के लिए राहत दिया जाना चाहिए।
उल्लेखनीय है कि परमबीर सिंह की ओर से पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख पर 100 करोड़ रुपये की रंगदारी वसूली का टारगेट देने का आरोप लगाए जाने के बाद हाई कोर्ट के आदेश पर मामले की जांच सीबीआई और ईडी कर रही हैं। परमबीर सिंह के आरोप के बाद राज्य सरकार ने मामले की सुनवाई के लिए पूर्व न्यायाधीश के.यू. चांदीवाल की अध्यक्षता में चांदीवाल आयोग का गठन किया था। चांदीवाल आयोग ने परमबीर सिंह को 6 अगस्त को पूछताछ के लिए आयोग के समक्ष उपस्थित रहने के लिए समन जारी किया है। परमबीर सिंह ने आज हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर चांदीवाल आयोग के गठन पर ही सवाल खड़ा कर दिया है।
साभार – हिस