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ओडिशा में 107 नगर पालिकाओं और एनएसी चुनाव अप्रैल के अंत में

  •  कटक, भुवनेश्वर और ब्रह्मपुर नगर निगमों का चुनाव भी साथ होने की संभावनाएं

  •  प्रत्येक 1,000 मतदाताओं के लिए एक बूथ होगा

  •  मतदाता सीधे पार्षद, पार्षद, मेयर और चेयरमैन का करेंगे चुनाव

  •  पांच हजार वार्डों के लिए करीब 11 हजार ईवीएम भेजने की प्रक्रिया शुरू

भुवनेश्वर. ओडिशा में 16 फरवरी से होने वाले त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों के बीच राज्य के 107 नगर पालिकाओं और एनएसी में चुनाव कराने को लेकर तैयारियां शुरू हो गयी हैं. कटक, भुवनेश्वर और ब्रह्मपुर नगर निगमों के अलावा 107 नगरपालिकाओं और अधिसूचित क्षेत्र परिषदों (एनएसी) में अप्रैल के अंत या मई की शुरुआत में चुनाव होने की संभावना है. राज्य सरकार वार्ड परिसीमन जैसे आवश्यक कामों को पूरा करने के लिए लगातार काम कर रही है. जनवरी के अंत तक वार्ड परिसीमन और सीट आरक्षण के साथ-साथ मेयर और अध्यक्ष के पदों के लिए आरक्षण पर अंतिम रिपोर्ट राज्य चुनाव आयोग (एसईसी) को प्रस्तुत करनी है. हालांकि वार्डों की आरक्षण सूची का मसौदा पहले ही जारी किया जा चुका है, उसकी आपत्तियों की सुनवाई अभी चल रही है.
इस बीच एसईसी ने हाल ही में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए जिलाधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में विभिन्न विषयों पर प्रकाश डाला गया. इसके अलावा एसईसी ने जिला कलेक्टरों को भी पत्र लिखकर बूथों की पहचान करने और वार्डवार मतदाता सूची तैयार करने को कहा है.
बूथ पहचान दिशानिर्देशों के अनुसार, प्रत्येक 1,000 मतदाताओं के लिए एक बूथ होगा. मतदाताओं की संख्या 1,200 से अधिक होने पर एक अलग बूथ बनाया जाएगा. इसी तरह कलेक्टरों को पुलिस थानों, अस्पतालों, धार्मिक संस्थानों और निजी क्लबों जैसी जगहों पर बूथ नहीं लगाने के निर्देश दिए गए हैं.
भद्रक के जिलाधिकारी त्रिलोचन मांझी ने मीडिया से कहा कि एसईसी ने हमें यूएलबी के आने वाले चुनावों के संबंध में सभी आवश्यक कदम उठाने का निर्देश दिया है. इसके तहत हमने अपने जिले में प्रक्रिया शुरू कर दी है. हमारे जिले में मौजूदा नगरपालिकाओं के अलावा दो नई नगरपालिकाएं बनी हैं. इसलिए हम बूथों की पहचान करने और मतदाता सूची तैयार करने के काम पर हैं. यूएलबी के चुनावों में तीन साल की देरी हुई है, क्योंकि यह सितंबर 2018 में आयोजित किया जाना था. हालांकि, इस घोषणा के बाद कि नगरपालिकाओं के चेयरमैन और निगमों के मेयर सीधे चुने जाएंगे. इसलिए इस बार मतदाता सीधे पार्षद, पार्षद, मेयर और चेयरमैन का चुनाव करेंगे. मतदाताओं को वोट डालने की सुविधा के लिए प्रत्येक वार्ड में दो ईवीएम होंगी. इसलिए पांच हजार वार्डों के लिए करीब 11 हजार ईवीएम जिलों में भेजी जा रही हैं.
परिसीमन के बाद उभर रहे वार्डों की संख्या के बारे में पूछे जाने पर नयागढ़ नगर पालिका के कार्यकारी अधिकारी संतोष कुमार जेना ने कहा कि मौजूदा 13 में तीन वार्ड जोड़े गए हैं. चेयरमैन पद महिलाओं के लिए आरक्षित है और हम एसईसी के निर्देश के अनुसार कदम उठा रहे हैं.
उमरकोट नगरपालिका में कोई नया वार्ड नहीं बनाया गया है और संख्या 14 है. चल रही प्रक्रिया के बारे में उमरकोट नगरपालिका के कार्यकारी अधिकारी रामचंद्र मांझी ने कहा कि अध्यक्ष पद महिला के लिए आरक्षित है. माझी ने बताया कि आरक्षण पर हमें तीन शिकायतें मिली थीं. हाल ही में एक सुनवाई हुई थी, जिसमें शिकायतों का निपटारा कर दिया गया है.

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