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ओडिशा में वर्तमान राजनीतिक स्थिति पर सौम्यरंजन पटनायक का कटाक्ष

  •  कहा- नियम सबके लिए एक, लेकिन मुख्यमंत्रियों से मिलना व्यावहारिक रूप से असंभव

  •  कौन अधिक शक्तिशाली है, कैबिनेट में मंत्री या सचिव, इसे लेकर आम जनता और मतदाता दुविधा में

भुवनेश्वर। अक्सर अपनी टिप्पणियों के लिए जाने जाने वाले सत्तारूढ़ बीजू जनता दल (बीजद) के विधायक सौम्य रंजन पटनायक ने एक बार फिर कई प्रासंगिक सवाल उठाकर धमाका करते हुए ओडिशा में वर्तमान राजनीतिक स्थितियों पर जमकर कटाक्ष किया। उन्होंने जनता और मतदाता को सामने रखते हुए पूछा कि कौन शक्तिशाली है, कैबिनेट में मंत्री या सचिव? उनके इस बयान को लेकर चर्चे तेज हो गये हैं।

बीजद नेता व विधायक पटनायक यहां कल एक लॉ कॉलेज में बतौर अतिथि सभा को संबोधित करते हुए पटनायक ने कहा कि कानून प्रधानमंत्री और यहां तक कि एक कांस्टेबल के लिए समान है, लेकिन मौजूदा स्थिति यह है कि मुख्यमंत्रियों से मिलना व्यावहारिक रूप से असंभव है।

पटनायक ने कहा कि जब हम कानून के नियम पढ़ते हैं, तो पता चलता है कि कानून प्रधानमंत्री और एक कांस्टेबल के लिए बराबर है, लेकिन इन दिनों प्रधानमंत्री जवाब देने से कतरा रहे हैं और जवाबदेह बनने को तैयार नहीं हैं। इसी तरह से इन दिनों मुख्यमंत्रियों से मिलना या बातचीत करना व्यावहारिक रूप से कठिन है।

पटनायक ने कहा कि आम जनता और मतदाता अब दुविधा में हैं, क्योंकि वे यह पता नहीं लगा पा रहे हैं कि कौन अधिक शक्तिशाली है, कैबिनेट में मंत्री या सचिव।

उन्होंने सवाल किया कि इस तरह के भ्रम को कौन दूर करेगा। अब वकीलों की जिम्मेदारी है कि वे आगे आएं। आज कोविद लगभग खत्म हो गया है और बंदिशें खत्म हो गई हैं, लेकिन सच कोई नहीं बोल रहा है। लॉ कॉलेज के पूर्व छात्रों को किस बात का डर सता रहा है?

बीजद विधायक ने यह कहते हुए अपनी असमर्थता व्यक्त की कि हम कुछ भी नहीं कह सकते, क्योंकि हम पेशेवर हैं और पार्टी से दंडित और निलंबित होंगे। हमारे हित में कुछ समस्याएं हो सकती हैं।

हालांकि यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि सौम्य रंजन पटनायक ने कार्यक्रम के दौरान किन परिस्थितियों में इस तरह की टिप्पणी की। अब इस बयान ने राज्य में एक बहस छेड़ दी है कि कुछ अनुमान लगाया जा रहा है कि वरिष्ठ नेता ओडिशा में राजनीतिक मामलों की वर्तमान स्थिति पर कटाक्ष कर रहे थे।

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