Home / National / बजट : 2,87,000 करोड़ के परिव्यय के साथ जल जीवन मिशन (शहरी) की घोषणा

बजट : 2,87,000 करोड़ के परिव्यय के साथ जल जीवन मिशन (शहरी) की घोषणा

  • शहरी स्वच्छ भारत मिशन 2.0 के लिए 1,41,678 करोड़ रुपये आवंटित किए गए

  • वायु प्रदूषण की बढ़ती समस्या से पार पाने के लिए 2,217 करोड़ रुपये का आवंटन

  • स्वैच्छिक वाहन स्क्रैप नीति की घोषणा की गई


इण्डो एशियन टाइम्स, ब्यूरो, नई दिल्ली
केन्‍द्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट कार्य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण द्वारा आज संसद में पेश केन्‍द्रीय बजट 2021-22 में स्वास्थ्य और खुशहाली पर मुख्य जोर रहा। इनसे आत्मनिर्भर भारत की नींव तैयार होती है। इसीलिए, स्वास्थ्य और खुशहाली के लिए बजट में 137 प्रतिशत की भारी बढ़ोतरी की गई है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा बार-बार वैश्विक स्वास्थ्य हासिल करने की पूर्व शर्त के रूप में स्वच्छ जल, स्वच्छता और स्वच्छ पर्यावरण के महत्व पर जोर दिए जाने का उल्लेख करते हुए बजट में इन क्षेत्रों के लिए भारी आवंटन किया गया है।
जल जीवन मिशन (शहरी)

केन्द्रीय बजट में जल जीवन मिशन (शहरी) के शुभारम्भ की घोषणा की गई है। इसका उद्देश्य 2.86 करोड़ घरों को नल कनेक्शन के साथ सभी 4,378 शहरी स्थानीय निकायों में समान जल आपूर्ति और 500 अमृत शहरों में तरल अपशिष्ट प्रबंधन उपलब्ध कराना है। 2,87,000 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ इसे 5 साल में कार्यान्वित किया जाएगा।

स्वच्छ भारत, स्वस्थ भारत

शहरी भारत की स्वच्छता के लिए, बजट में निर्माण और विध्वंस गतिविधियों से निकले अपशिष्ट के प्रभावी प्रबंधन व सभी पुराने डम्पिंग स्थलों पर के जैविक उपचार के द्वारा पूर्ण मल-जल प्रबंधन व अपशिष्ट जल शोधन, कचरे के स्रोत में विभेदन, एकल उपयोग वाली प्लास्टिक में कमी, वायु प्रदूषण में कमी पर ध्यान केन्द्रित किया गया है। शहरी स्वच्छ भारत मिशन 2.0 कुल 1,41,678 करोड़ रुपये की धनराशि के आवंटन के साथ 2021-26 तक पांच साल की अवधि में कार्यान्वित किया जाएगा।
स्वच्छ वायु

वायु प्रदूषण की बढ़ती समस्या से पार पाने के लिए इस बजट में 10 लाख से ज्यादा जनसंख्या वाले 42 शहरी केन्द्रों के लिए 2,217 करोड़ रुपये उपलब्ध कराने का प्रस्ताव किया गया है।
स्क्रैप नीति

पुराने और जर्जर वाहनों के निस्तारण के लिए एक स्वैच्छिक वाहन स्क्रैप नीति केन्द्रीय बजट का अहम भाग है। इससे ईंधन कुशल, पर्यावरण अनुकूल वाहनों को प्रोत्साहन देने में सहायता मिलेगी, जिससे वाहन प्रदूषण और तेल आयात बिल में कमी आएगी। स्वचालित फिटनेस केन्द्रों में वाहनों की फिटनेस जांच कराई जाएगी, जो व्यक्तिगत वाहनों के मामले में 20 साल बाद और व्यावसायिक वाहनों के मामले में 15 साल बाद होगी। वित्त मंत्री ने घोषणा की कि इस योजना का विवरण मंत्रालय द्वारा अलग से साझा किया जाएगा।

Share this news

About desk

Check Also

MODI

टीएमसी और कांग्रेस की सोच विकास की नहीं, ये पार्टियां भ्रष्टाचार फैलाना ही जानती हैं : मोदी

कोलकाता। लोकसभा चुनाव 2024 के पांचवें चरण के मतदान से पहले रविवार को पं. बंगाल …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *