Home / National / केन्‍द्रीय बजट – ‘हर घर नल से जल’ योजना के लिए 60 हजार करोड़ रुपए आवंटित किए गए; 3.8 करोड़ घरों को कवर किया जाएगा

केन्‍द्रीय बजट – ‘हर घर नल से जल’ योजना के लिए 60 हजार करोड़ रुपए आवंटित किए गए; 3.8 करोड़ घरों को कवर किया जाएगा

  • प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 48 हजार करोड़ रुपए की लागत से 80 लाख मकान बनाए जाएंगे

  • वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम के तहत उत्‍तरी सीमावर्ती गांवों का विकास किया जाएगा

  • आकांक्षी जिला कार्यक्रम में पिछड़े प्रखंडों के विकास पर ध्‍यान केन्द्रित किया जाएगा

नई दिल्ली. केन्‍द्रीय वित्‍त एवं कॉरपोरेट कार्य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण ने आज संसद में केन्‍द्रीय बजट 2022-23 पेश करते हुए कहा कि हर घर नल से जल योजना के तहत 2022-23 में 3.8 करोड़ घरों को कवर करने के लिए 60 हजार करोड़ रुपये आवंटित किए गए। वित्‍त मंत्री ने कहा कि 2014 से सरकार का ध्‍यान नागरिकों, विशेषकर गरीबों और वंचितों के सशक्तिकरण पर रहा है। इसके लिए कई उपाय किए गए, जिसमें घर, बिजली, रसोई गैस, जल प्रदान करने वाले कार्यक्रम शामिल हैं। इसके बारे में और विवरण प्रदान करते हुए वित्‍त मंत्री ने कहा कि वर्तमान में ‘हर घर, नल से जल’ के अंतर्गत 8.7 करोड़ घरों को कवर किया गया है, जिनमें 5.5 करोड़ घरों को पिछले दो सालों में नल जल प्रदान किया गया है।

प्रधानमंत्री आवास योजना

श्रीमती निर्मला सीतारमण ने वित्‍त वर्ष 2022-23 में प्रधानमंत्री आवास योजना के चिह्नित पात्र लाभार्थियों, ग्रामीण और शहरी दोनों के लिए 80 लाख घर बनाने के लिए 48 हजार करोड़ रुपये के आवंटन की भी घोषणा की। केन्‍द्र सरकार शहरी क्षेत्रों में मध्‍यम वर्ग और आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों के लिए सस्‍ते मकानों को बढ़ावा देने हेतु सभी प्रकार की भूमि एवं निर्माण संबंधित मंजूरियों में लगने वाले समय को कम करने के लिए राज्‍य सरकारों के साथ मिलकर काम करेगी। सरकार मध्‍यस्‍थता में आने वाले खर्च को कम करने के साथ पूंजी बढ़ाने के लिए वित्‍तीय क्षेत्र के नियामकों के साथ काम करेगी।

बाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम

वित्‍त मंत्री ने नए वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम के तहत उत्‍तरी सीमा पर स्थित गांवों को कवर किया जाएगा। श्रीमती निर्मला सीतारमण ने कहा ‘’सीमावर्ती गांव, जहां की जनसंख्‍या बहुत ही छिटपुट है, उनकी कनेक्टिविटी और बुनियादी सुविधाएं भी बहुत ही सीमित हैं, विकास के लाभ से वंचित रह गए हैं। उत्‍तरी सीमा के ऐसे ही गांव को इस नए वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम के अंतर्गत लाया जाएगा। यहां के क्रियाकलापों में गांव की बुनियादी सुविधाओं, आवास, पर्यटन केन्‍द्रों के निर्माण, सड़क संपर्क, विकेंद्रित नवीकरणीय ऊर्जा की व्‍यवस्‍था है, दूरदर्शन और शिक्षण चैनलों के लिए ‘डाइरेक्ट टू होम एक्‍सेस’ की व्‍यवस्‍था और आजीविका सृजन के लिए सहायता जैसे कार्य आएंगे। इन क्रियाकलापों के लिए अतिरिक्‍त धन उपलब्‍ध कराया जाएगा। वर्तमान योजनाओं को एक में मिला दिया जाएगा। हम उनके परिणामों की विवेचना करेंगे और उनकी लगातार निगरानी करेंगे।‘’

आकांक्षी प्रखंड कार्यक्रम

केन्‍द्रीय वित्‍त मंत्री ने अपने बजट भाषण में कहा कि 2022-23 में आकांक्षी जिला कार्यक्रम में उन प्रखंडों पर ध्‍यान केंद्रित किया जाएगा, जिन्‍होंने महत्‍वपूर्ण क्षेत्रों में उचित प्रगति नहीं की है। श्रीमती निर्मला सीतारमण ने कहा, ‘’देश के अत्‍यन्‍त दुर्गम और पिछड़े जिलों में रहने वाले नागरिकों के जीवन की गुणवत्‍ता में सुधार करने का हमारा जो स्‍वप्‍न था वह आकांक्षी प्रखंड कार्यक्रम बहुत कम समय में ही साकार हो गया है। इन 112 जिलों के 95 प्रतिशत में स्‍वास्‍थ्‍य, पोषण, वित्‍तीय स्थिति और आधारभूत अवसंरचना जैसे प्रमुख क्षेत्रों में काफी प्रगति देखने में आयी है। वे राज्‍यों के औसत मूल्‍य को भी पार कर गए हैं। हांलाकि इन जिलों के कुछ प्रखंडों पर अभी भी पिछड़े हुए हैं। 2022-23 में, इस कार्यक्रम के अंतर्गत इन्‍हीं जिलों के ऐसे ही प्रखंडों पर ध्‍यान दिया जाएगा।‘’

Share this news

About desk

Check Also

भाजपा ने ओबीसी आरक्षण को लेकर कांग्रेस पर जमकर साधा निशाना

नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश की कैबिनेट मंत्री बेबी रानी मौर्य ने गुरुवार को एससी-एसटी और …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *