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ओडिशा विधानसभा में सत्ता पक्ष व विपक्ष का हंगामा

  •  प्रश्नकाल व शून्यकाल भी भेंट चढ़े

  •  किसानों से धान की खरीद न होने के मुद्दे को लेकर विपक्षी भाजपा व कांग्रेस का हंगामा

  •  आत्महत्या करने की कोशिश के कारण विपक्ष की क्षमायाचना न करने तक नहीं चलेगा सदन – बीजद

भुवनेश्वर. शनिवार को भी किसानों के मुद्दे को लेकर ओडिशा विधानसभा की कार्यवाही भेंट चढ़ गयी.सत्ता पक्ष और विपक्ष ने अपनी-अपनी मांगों को लेकर जमकर हंगामा किया.किसानों से धान की खरीद न होने के मुद्दे को लेकर विपक्षी भाजपा व कांग्रेस के विधायक हंगामा करते रहे, जबकि सत्ता पक्ष के विधायक आत्महत्या की कोशिश करने वाले विधायक सुभाष पाणिग्रही से क्षमा मांगने की मांग को लेकर हंगामा करते रहे. आज सदन की कार्यवाही के शुरुआत से ही हंगामा होने के कारण विधानसभा अध्यक्ष सूर्य नारायण पत्र ने सदन को पहले 11:30 बजे तक व बाद में शाम के चार बजे तक स्थगित कर दिया. इस कारण विधानसभा की पहली पाली की बैठक में निर्धारित कार्यक्रम हो नहीं सका. प्रश्नकाल तथा शून्यकाल का कार्यक्रम नहीं हो सका.
शनिवार को पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार, सुबह 10:30 बजे सदन की कार्यवाही शुरू हुई. कार्यवाही प्रारंभ होते ही विपक्षी भाजपा और कांग्रेस के विधायकों ने हंगामा कर सदन के मध्य में आ गए और नारेबाजी करने लगे. वे किसानों से धान की खरीद ना किए जाने के मुद्दे पर नारेबाजी कर रहे थे. इसी बीच सत्ता पक्ष के मुख्य सचेतक प्रमिला मलिक ने कहा कि लोगों ने समस्याओं की चर्चा के लिए विधायकों को सदन में भेजा है. आत्महत्या करने के प्रयास के लिए नहीं. ऐसे में भाजपा विधायक सुभाष पाणिग्रही ने जो कल आत्महत्या करने का प्रयास किया, उन्हें यह स्पष्ट करना चाहिए कि यह उनका व्यक्तिगत निर्णय था या पार्टी का निर्णय. उनका यह प्रयास निंदनीय है. उन्होंने कहा कि जब तक भाजपा विधायक क्षमा याचना नहीं कर लेते, तब तक सदन नहीं चल सकता. यह कहते हुए सत्तापक्ष के विधायक भी सदन के बीच में आ गए और नारेबाजी करने लगे. इसे ध्यान में रखते हुए विधानसभा अध्यक्ष ने सदन को 11:30 बजे तक स्थगित कर दिया.
दोपहर 11.30 बजे सदन की कार्यवाही जब फिर से शुरु हुई तब समान नजारा देखने को मिला. भाजपा व कांग्रेस विधायक सदन के बीच में आकर किसानों से धान की खरीद न किये जाने को लेकर नारेबाजी करने लगे. उधर, सत्ता पक्ष के विधायक भी सदन के बीच में आकर विपक्षी पार्टी से आत्महत्या करने के प्रयास को लेकर क्षमायाचना की मांग करते हुए नारेबाजी करते दिखे. विपक्षी काग्रेस के विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष के पोडियम पर चढ़ते दिखे. विधानसभा अध्यक्ष ने विधायकों से अपनी-अपनी सीट पर जाकर सदन की कार्यवाही में सहयोग करने की अपील की, लेकिन विधायक नहीं माने. इस कारण विधानसभा अध्यक्ष सूर्य नारायण पात्र ने सदन की कार्यवाही को दोपहर 4 बजे तक स्थगित कर दिया.

आठ विधेयक पेश
दूसरी पारी में सदन की कार्यवाही शाम चार बजे के बाद शुरू होते ही फिर से हंगामा होने लगा. इसी हंगामे के बीच कुल आठ विधेयक सदन में पेश किये गये. इसके बाद हंगामे के कारण सदन की कार्यवाही को सोमवार सुबह 10.30 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गयी है.

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