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ओडिशा के डीजीपी को लिखा एक पत्र
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राज्य में अपराध और अपराध सिद्धि की गिरती दर का दिया हवाला
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भाजपा के 17 कार्यकर्ताओं की हत्या पर स्थिति रिपोर्ट साझा करने का किया आग्रह

हेमन्त कुमार तिवारी, भुवनेश्वर
लोकसभा सांसद अपराजिता षाड़ंगी ने शुक्रवार को ओडिशा में राजनीतिक हिंसा की घटनाओं पर चिंता व्यक्त की और कहा कि राज्य आने वाले दिनों में पश्चिम बंगाल की तरह ही देखने को मिलेगा. उन्होंने अपनी चिंता को लेकर ओडिशा के डीजीपी को एक पत्र लिखा है. भुवनेश्वर के सांसद ने कहा है कि राजनीतिक हिंसा के उदाहरण, विशेष रूप से भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं के खिलाफ पिछले कुछ वर्षों में काफी बढ़ी है. उन्होंने हाल के दिनों में भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या के 15 मामलों को सूचीबद्ध किया है. इसे लेकर सांसद ने ओडिशा में अपराध दर में वृद्धि और कम सजा दर के प्रति भी शीर्ष पुलिस का ध्यान आकर्षित किया है. उन्होंने कहा कि मेरे द्वारा यहां प्रदान की गई सूची के अलावा भाजपा नेता कुलमणि बराल और दिव्यासिंह बराल की भीषण हत्या का मामला भी ताजा है. सांसद ने दावा किया कि उपरोक्त सभी हत्याओं में या तो दोषियों को गिरफ्तार नहीं किया गया है या ढीली जांच के कारण जमानत मिल गयी है. सांसद षाड़ंगी ने अपराध दर और निराशाजनक सजा दर के बारे में 2018 और 2019 की एनसीआरबी रिपोर्टों का हवाला दिया है. एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार, ओडिशा 2018 में अपराध सिद्धि दर (5.7%) के साथ सबसे खराब स्थिति में है. नवीनतम रिपोर्ट 2019 में ओडिशा को दूसरे स्थान पर रखा गया है, जहां महिलाओं के छेड़छाड़ के सबसे अधिक मामले देखे गए हैं. रिपोर्ट 2019 के अनुसार, ओडिशा सबसे खराब स्थिति है, जहां तक बाल पोर्नोग्राफी का संबंध है. इसके अलावा, एनसीआरबी 2019 के अनुसार, 2018 की तुलना में 2019 में राज्य में साइबर अपराध में लगभग 76% की वृद्धि हुई है. सांसद ने पत्र के जरिये डीजीपी से सभी 17 हत्याओं की स्थिति रिपोर्ट को जल्द से जल्द साझा करने का आग्रह किया है.
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