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रथयात्रा के बाद बाहुड़ा यात्रा, सोना वेश, अधर पणा और नीलाद्री विजे नीति नहीं होगी
प्रमोद कुमार प्रृष्टि, पुरी
रथयात्रा को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का राज्य सरकार से लेकर जगतगुरु शंकाचार्य और श्रीमंदिर प्रबंधन समिति ने स्वागत किया है. सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मद्देनजर आज श्रीमंदिर की प्रबंधन समिति की बैठक आयोजित हुई, बैठक की अध्यक्षता प्रबंधन समिति के अध्यक्ष गजपति महाराज दिव्य सिंहदेव ने की.
पुरी नीलाद्री भक्त निवास परिसर में आयोजित बैठक में कमेटी के कार्यकारी अध्यक्ष व ओडिशा के विकास आयुक्त वरिष्ठ आईएएस सुरेश चंद्र महापात्र, श्रीमंदिर के मुख्य प्रशासक डॉक्टर किशन कुमार, उप मुख्य प्रशासक पुरी जिलाधिकरी बलवंत सिंह, पुलिस अधीक्षक उमा शंकर दास, समिति के सदस्य तलुक्ष नीलकंठ महापात्र, रामचंद्र दास महापात्र, बाबा सच्चिदानंद दास, सिद्धेश्वर महापात्र, माधव महापात्र, माधव पूजा पंडा, अनंत तिआड़ी व अन्य सदस्यगण उपस्थित थे.
इस दौरान सभी ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया. साथ ही यह भी तय किया गया कि इसके बाद की नीतियों को लेकर जगतगुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती जी से परामर्श लेने के लिए एक दल जायेगा. आने वाले दिनों में किस तरफ से यात्रा की विधि आयोजित होगी, इस पर उनसे चर्चा की जायेगी. इस दौरान कुछ सदस्यों ने पुनर्विचार याचिका दायर करने का प्रस्ताव भी रखा, लेकिन इस पर सहमति नहीं बनी. गजपति महाराज और सुरेश महापात्र ने सबकी भावनाओं को सम्मानपूर्वक सुना, लेकिन इस पर क्या किया जाएगा, उसका निर्णय जगतगुरु शंकराचार्य के परामर्श के बाद ही लिया जायेगा.
इस दौरान बताया गया कि यदि रथयात्रा का आयोजन नहीं होगा तो बाहुड़ा यात्रा, सोना वेश, अधर पणा और नीलाद्री विजे नीति नहीं होंगी, क्योंकि ये सभी नीतियां रथयात्रा के बाद आयोजित होती हैं और वह भी श्रीमंदिर के बाहर आयोजित की जाती हैं. इसलिए इन नीतियों का हो पाना भी संभव नहीं होगा.