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बेटी दीपाली दास ने सीबीआई जांच की मांग
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राजनीतिक बयानवाजी हुई तेज
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नव दास की हत्या की सीबीआई जांच के लिए दीपाली दास लिखित करें मांग – कानून मंत्री
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कहा-केवल मीडिया के माध्यम से चिंताएं व्यक्त करना पर्याप्त नहीं
भुवनेश्वर। ओडिशा के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री और बीजद विधायक नव दास हत्या मामले की फाइल एक बार फिर जांच के लिए खुल सकती है। उनकी बेटी ने इस मामले की सीबीआई जांच की मांग की है।
उनकी बेटी दीपाली दास ने बुधवार को अपने पिता की हत्या की सीबीआई जांच की मांग को लेकर बयान दिया। दीपाली ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि कुछ भाजपा नेताओं ने हमसे यह सवाल किया है कि हम अब तक सीबीआई जांच क्यों नहीं मांग रहे थे? मैं मुख्यमंत्री मोहन माझी सरकार से सीबीआई जांच शुरू करने की अपील कर रही हूं।
दीपाली ने कहा कि हमारे परिवार पर आरोप लग रहे हैं और हम चाहते हैं कि सरकार हमारे साथ खड़ी हो और जांच को आगे बढ़ाए।
वहीं, ओडिशा के कानून मंत्री, पृथ्वीराज हरिचंदन ने इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि मीडिया में केवल चिंता व्यक्त करने से कोई फायदा नहीं है। उन्होंने दीपाली दास से आग्रह किया कि वह लिखित में अपनी मांग प्रस्तुत करें ताकि उचित कार्रवाई की जा सके। मंत्री ने यह भी कहा कि यदि पहले के नवीन पटनायक सरकार द्वारा की गई जांच से कोई आपत्ति है, तो इसे लिखित रूप में दर्ज कराया जाए।
हरिचंदन ने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री ही इस मामले में सीबीआई जांच पर विचार करेंगे। पहले हमने क्राइम ब्रांच की कार्यवाही पर सवाल उठाए थे। उनका कहना था कि पहले की सरकार ने इस मामले में सही दिशा में जांच नहीं की और आरोपित को गिरफ्तार कर भी घटना के पीछे के कारणों को स्पष्ट नहीं किया।
सीबीआई जांच होनी चाहिए – कांग्रेस नेता
इसी बीच, कांग्रेस नेता और पूर्व विधायक संतोष सिंह सलूजा ने भी नव दास हत्या मामले में सीबीआई जांच की जरूरत जताई। उन्होंने बताया कि दो साल पहले इस मामले में सीबीआई जांच की मांग की गई थी, लेकिन तब सरकार की ओर से इस पर कोई कदम नहीं उठाया गया। सलूजा ने कहा कि भले ही इस मामले में देरी हो गई हो, लेकिन अब दीपाली दास और उनके परिवार को एहसास हुआ है कि यह हत्या साजिश का हिस्सा थी और इस पर सीबीआई जांच होनी चाहिए।
मामला अब राजनीति में भी गरमाया
यह मामला अब राजनीति में भी गरमाता जा रहा है, क्योंकि मुख्यमंत्री और सरकार पर विपक्षी दलों की ओर से दबाव बढ़ रहा है कि इस हत्या की सच्चाई सामने आए। फिलहाल, मुख्यमंत्री द्वारा इस मामले में कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है, लेकिन राजनीतिक बयानवजी और आरोप-प्रत्यारोप जारी हैं।