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रैगिंग मामले में पीजी छात्र हॉस्टल से निष्कासित
ब्रह्मपुर। ब्रह्मपुर स्थित महाराजा कृष्ण चंद्र गजपति मेडिकल कॉलेज और अस्पताल (एमकेसीजी) में रैगिंग के आरोप में चार डॉक्टरों को बर्खास्त कर दिया गया है, जिनमें एक संविदा आधारित सहायक प्रोफेसर भी शामिल हैं। इसके साथ ही एक पीजी द्वितीय वर्ष के छात्र को छह महीने के लिए हॉस्टल में प्रवेश से वंचित कर दिया गया है।
यह कार्रवाई कॉलेज काउंसिल की बैठक और ओडिशा के चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण निदेशालय (डीएमईटी) के निर्देश के बाद की गई है। कॉलेज के एक पीजी छात्र ने सीनियर छात्रों द्वारा मारपीट और रैगिंग का आरोप लगाते हुए औपचारिक शिकायत दर्ज कराई थी।
बर्खास्त और निलंबित डॉक्टरों डॉ पुरूषोत्तम स्वाईं (सहायक प्रोफेसर), डॉ आर्यन कुमार मोहंती, डॉ चिन्मय प्रधान (ऑर्थोपेडिक्स विभाग) शामिल हैं। इन सभी को संविदा पदों से तत्काल प्रभाव से बर्खास्त कर दिया गया है।
साथ ही डॉ. यशवंत वीरा (पोस्ट पीजी सीनियर रेजिडेंट, जनरल सर्जरी विभाग) को भी तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। डॉ प्रीयजीत साहू (ऑर्थोपेडिक्स विभाग, द्वितीय वर्ष पीजी छात्र) को छह महीने के लिए हॉस्टल से निष्कासित कर दिया गया है।
कॉलेज की डीन सुचित्रा दास ने बताया कि यह निर्णय 23 दिसंबर को हुई कॉलेज काउंसिल की बैठक और डीएमईटी के निर्देश के बाद लिया गया।
20 दिसंबर को एमकेसीजी मेडिकल कॉलेज के एक पीजी छात्र ने आरोप लगाया कि सीनियर छात्रों ने हॉस्टल नंबर-3 परिसर में उसके साथ मारपीट की। मामला उस समय सामने आया जब इस संबंध में बैद्यनाथपुर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई गई।
गौरतलब है कि इससे पहले 2 दिसंबर को भी रैगिंग के आरोप सामने आए थे, जब एक जूनियर डॉक्टर ने शिकायत की थी कि उसे मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया क्योंकि उसने सीनियरों द्वारा जबरन थोपे गए काम करने से इनकार कर दिया था।