-
भुवनेश्वर में सिर्फ ग्रीन पटाखे बेचने की अनुमति
-
कमिश्नरेट पुलिस ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार तैयार किया खाका
-
हरित और स्वच्छ दीपावाली सुनिश्चित करने के लिए उठाए जाएंगे सख्त कदम
भुवनेश्वर। भुवनेश्वर में पटाखा फोड़ने की अनुमति रात 8 बजे से 10 बजे के बीच होगी। हरित और स्वच्छ दीपावाली सुनिश्चित करने के लिए कमिश्नरेट पुलिस ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के अनुसार एक खाका तैयार किया है। यह जानकारी मीडिया को भुवनेश्वर के डीसीपी प्रतीप सिंह ने दी है। उन्होंने बताया कि भुवनेश्वर में बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए पुलिस ने केवल ग्रीन पटाखे बेचने की अनुमति दी है।
उन्होंने कहा कि बड़ी आवाज और धुआं छोड़ने वाले पटाखे बेचने वाले व्यापारियों से सख्ती से निपटा जाएगा। अस्पतालों, शैक्षणिक संस्थानों, अदालतों और पूजा स्थलों के 100 मीटर के दायरे में तेज आवाज वाले धुआं छोड़ने वाले पटाखे प्रतिबंधित हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। वायु प्रदूषण के साथ-साथ ध्वनि प्रदूषण भी खतरनाक स्थितियां पैदा करता है। दिवाली के दौरान आग लगने की घटनाएं भी बहुत होती हैं।
इस खबर को भी पढ़ेंः-बंगाल की खाड़ी में फिर बनेगा निम्न दबाव का क्षेत्र
उन्होंने बताया कि इन सभी पहलुओं को ध्यान में रखते हुए पुलिस ने एक ब्लू-प्रिंट तैयार किया। बताया गया है कि 500 पटाखा व्यापारियों ने लाइसेंस के लिए आवेदन किया था, उनमें से लगभग 90 प्रतिशत को अनुमति दे दी गई। वे बरमुंडा, रसूलगढ़, चन्द्रशेखरपुर, जटनी जैसे बड़े खुले स्थानों में अस्थायी स्टॉल लगाएंगे। पटाखा बिक्री वाले स्थानों पर अग्नि सुरक्षा को भी महत्व दिया जाएगा।
डीसीपी प्रतीक सिंह ने व्यापारी ग्रीन पटाखे बेच रहे हैं या नहीं, इसकी जांच के लिए दो विशेष टीमें बनाईं हैं। दो एसीपी के नेतृत्व में प्रदूषण बोर्ड के अधिकारी और फायर ब्रिगेड संयुक्त रूप से पटाखा दुकानों का निरीक्षण करेंगे।
डीसीपी ने हर थाने को सतर्क रहने और अपने अधिकार क्षेत्र में पटाखा व्यापारियों पर कड़ी नजर रखने का भी निर्देश दिया। लोग निर्धारित समय के अंदर पटाखे जलाएं यह सुनिश्चित करने के लिए गश्ती दल लगातार निगरानी रखेंगे। डीसीपी ने कहा कि नियमों का उल्लंघन करने वालों की पहचान की जाएगी और कानूनी कार्रवाई की जाएगी।