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कटक में एक लाइन पर आगे-पीछे चल रही थीं दो मेमू ट्रेनें
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थोड़ी देर बाद बगल की लाइन से गुजरी और एक रेलगाड़ी
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चालक और गार्ड ने किया स्वचालित सिग्नलिंग प्रणाली के नियमों का पालन – इकोर
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मीडिया से दहशत नहीं फैलाने की अपील
भुवनेश्वर। ओडिशा के कटक में एक ही लाइन पर आगे-पीछे दो मेमू ट्रेनें आने बावूजद चालक और गार्ड की सूझबूझ से एक बड़ा रेल हादसा टल गया। ये दोनों ट्रेनें एक ही लाइन पर खड़ी थीं, तभी बगल से गुजर रहे ट्रैक पर तेज गति से एक अन्य रेलगाड़ी भी गुजरी। इस दौरान मेमू ट्रेन से काफी संख्या में यात्री नीचे उतर आए थे। हालांकि इस दौरान किसी प्रकार से कोई नुकसान नहीं हुआ है। इस घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद पूर्व तट रेलवे (इकोर) ने मंगलवार को स्पष्ट किया कि मेमू सहित दोनों ट्रेनें एक ही दिशा में चल रही थीं। इस दौरान स्वचालित सिग्नलिंग प्रणाली ने सुरक्षा सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इकोर की तरफ से बताया गया है कि जब कोई ट्रेन चालक स्वचालित स्टॉप सिग्नल पर आता है, तो उसे अपनी ट्रेन को सिग्नल के पहले रोकना अनिवार्य होता है। इसके बाद अगले सिग्नल के लिए उन्हें निर्धारित अवधि तक इंतजार करना होता है। दिन के समय एक मिनट और रात में दो मिनट की प्रतिक्षा अवधि होती है। यदि इस प्रतीक्षा अवधि के बाद सिग्नल चालू स्थिति में रहता है, तो चालक को विशिष्ट प्रक्रियाओं का पालन करते हुए गार्ड के साथ सिग्नल का आदान-प्रदान करना पड़ता है और अत्यधिक सावधानी के साथ आगे बढ़ना होता है, ताकि किसी भी संभावित बाधा से बचा जा सके।
इकोर ने कहा कि स्वचालित सिग्नल तब चालू स्थिति में आ सकता है, जब आगे कोई ट्रेन हो, ट्रैक पर कोई रुकावट हो या अन्य कारण हों। ऐसे मामलों में चालकों को प्रतिबंधित गति से आगे बढ़ने का निर्देश दिया जाता है। ऐसी स्थिति में गति कभी भी 15 किमी प्रति घंटे से अधिक नहीं होती है, भले ही दृश्यता कितना भी स्पष्ट हो। उन्हें परिस्थितियों के आधार पर सावधानी के साथ आगे बढ़ना, रुकने के लिए तैयार रहना और रुकावट या अगले स्वचालित सिग्नल तक पहुंचने तक किसी भी संभावित निर्देश का पालन करना आवश्यक होता है। इकोर ने कहा है कि हम जनता को आश्वस्त करना चाहते हैं कि स्वचालित सिग्नलिंग प्रणाली के भीतर चलने वाली ट्रेनें अनुमेय गति से और कठोर सुरक्षा उपायों के साथ चल रही हैं। अत्यधिक सुरक्षा बनाए रखते हुए ट्रेनें एक-दूसरे के करीब सीमित गति से चल सकती हैं। इसलिए इकोर ने दहशत न फैलाने या गलत सूचना न फैलाने की अपील की है, क्योंकि ट्रेनें सुरक्षा प्रोटोकॉल और अनुमेय गति के अनुसार चल रही थीं।