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श्री जगन्नाथ के दर्शन के बाद पैदल घर लौट रहा भक्त

  • पालतू कुत्ता भी चल रहा है मालिक के संग-संग

भुवनेश्वर। देश-दुनिया में भक्ति और भक्तों के किस्से एक से बढ़कर एक देखने और सुनने को मिलते हैं। एक ऐसा कुछ अजीब दृश्य ओडिशा में देखने को मिला है। ओडिशा के पुरी स्थित श्री जगन्नाथ मंदिर में एक भक्त ने स्नान पूर्णिमा के दिन महाप्रभु श्री जगन्नाथ, देव बलभद्र और देवी सुभद्रा के दर्शन के बाद पैदल घर लौटने का फैसला किया और बीते 10 दिनों से भीषण गर्मी में चलकर अपने घर जा रहा है। आश्चर्य की बात यह है कि इस भक्त के साथ उसका पालतू कुत्ता भी साथ आया था और साथ ही वह भी चल-चलकर जा रहा है।

इस भक्त की पहचान छत्तीसगढ़ निवासी सुभाशीष प्रधानी के रूप में बताई गई है।

खबरों के अनुसार, सुभाशीष और उसका पालतू कुत्ता प्रिंसी भगवान श्री जगन्नाथ और उनके भाई-बहन भगवान बलभद्र और देवी सुभद्रा के दर्शन करने के लिए पुरी आए थे। उनकी इच्छा पूरी होने के बाद भगवान का आशीर्वाद मिला। हालांकि वे दर्शन के लिए ट्रेन से आए थे, लेकिन दर्शन के बाद उन्होंने आभार प्रकट करने और भगवान के प्रति भक्ति को दर्शाने के लिए पैदल चलकर घर लौटने का फैसला किया। ये दोनों पिछले 10 दिनों से पैदल चलकर घर लौट रहे हैं।

पिछले साल प्रिंसी मिली

बताया जाता है कि सुभाशीष को पिछले साल प्रिंसी मिली थी। तभी से दोनों में गहरी दोस्ती हो गई। मालिक जहां भी जाता है, कुत्ता भी जाता है। वह अपने मालिक का पीछा करता है। भीषण गर्मी को देखते हुए सुभाशीष सुबह और शाम के समय ही पैदल चलते हैं। दिन के शेष समय में वह उपयुक्त स्थानों पर शरण लेते हैं। प्रिंसी भी हर वक्त उनके साथ है।

एक साथ रहते हैं दोनों

इस यात्रा के दौरान वह अपने दोस्त प्रिंसी की अच्छी देखभाल कर रहे हैं। विश्राम के समय दोनों एक साथ एक ही स्थान पर रह रहे हैं। यात्रा के दौरान वे उन्हीं तालाबों और नहरों में स्नान भी कर रहे हैं। इसके अलावा, सुभाशीष अपने दोस्त को अच्छा खाना मुहैया करा रहे हैं। वे नियमित अंतराल पर पशु चिकित्सकों द्वारा अपने पालतू जानवरों का इलाज कराकर उनकी अच्छी देखभाल कर रहे हैं।

जगन्नाथ की इच्छा के बिना उनका दर्शन संभव नहीं

प्रचलित मान्यता के अनुसार, भगवान श्री जगन्नाथ की इच्छा के बिना उनका दर्शन संभव नहीं है। इस को ध्यान में रखते में सुभाशीष को लगता है कि उसे भगवान का आशीर्वाद मिल गया है।

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