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तख्तों और लाठियों से किए गए बेरहमी से हमले
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कई पर्यटक हुए घायल, प्रशासन ने पर्यटकों को सुरक्षित स्थान पर रखा
कटक। जिले के मुंडली के पास टोल गेट पर कुछ विवाद को लेकर कर्मचारियों ने छत्तीसगढ़ के पर्यटकों पर हमला बोल दिया। इस दौरान तख्तों और लाठियों से पर्यटकों को दौड़ा-दौड़ा कर बेरहमी से पिटाई की गई। इस हमले में 11 पर्यटकों और तीन कर्मचारियों के घायल होने की खबर है।
छत्तीसगढ़ के पर्यटकों पर किए क्रूर हमले ने राज्य को झकझोर कर रख दिया है। बताया जाता है कि पर्यटकों ने सोशल मीडिया व्हाट्सअप के जरिए पीड़ितों को बचाने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार से गुहार लगाई थी। व्हाट्सअप पर लिखे गए संदेश में कहा गया था कि शिवरीनारायण (बिलासपुर) से हमारे कुछ सामाजिक बन्धु सपरिवार चारधाम यात्रा के लिए निकले हैं। आखरी पड़ाव जगन्नाथपुरी दर्शन पश्चात घर वापसी में कटक के पास एक टोलप्लाज़ा में पैसा को लेकर वहां के कर्मचारियों ने ऋषभ कश्यप के साथ यात्रा कर रहे पुरुषों की लाठी-डंडे से पिटाई की है। साथ ही बीचबचाव के लिए आयी महिलाओं को भी मारे, जिससे किसी के हाथ में फेक्चर है। बस के शीशे तोड़ दिए गए हैं, जिससे बस के अंदर बैठे बच्चों को चोंट आई हैं। एक बच्ची के कान में कांच चुभ गया है। वहां के कुछ लोगों की मदद से इन सबको हॉस्पिटल में त्वरित उपचार प्राप्त हुआ और इन्हें कटक के आठगढ़ नामक जगह पर एक रेस्ट हाउस में ठहरने की व्यवस्था की गई है। बताया गया है कि ऋषभ कश्यप की धर्मपत्नी ने फोन करके सभी को सुरक्षित निकालने में छत्तीसगढ़ सरकार की मदद के लिए गुहार लगाई।
टोल शुल्क भुगतान को लेकर हुआ विवाद
बताया गया है कि पड़ोसी राज्य से दो बसों के शुल्क के भुगतान को लेकर पर्यटकों और टोल गेट कर्मचारियों के बीच विवाद हो गया था। आरोप है कि विवाद के दौरान कर्मचारियों ने पर्यटकों पर हमला बोल दिया। इस दौरान हुई मारपीट में कुल 11 पर्यटक और टोल गेट के तीन कर्मचारियों के घायल होने की सूचना है। हमले में कुछ महिलाओं और बच्चों के भी घायल होने की खबर है। इस सिलसिले में अब तक चार लोगों को हिरासत में लिया गया है।
दोषियों के खिलाफ होगी कड़ी कार्रवाई – उपजिलाधिकारी
आठगढ़ के उपजिलाधिकारी हेमंत स्वाईं ने कहा कि यह एक दुर्भाग्यपूर्ण घटना है और सभी को इसकी निंदा करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि घटना की जांच चल रही है और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
स्वाईं ने बताया कि सभी पर्यटकों को सुरक्षित रखा गया है और उन्हें वैकल्पिक परिवहन बसों में भेजने का प्रयास किया जा रहा है।
टोल गेट पार करने के लिए 1000 रुपये मांगे
सूत्रों ने बताया कि टोल गेट के कर्मचारियों ने दो बसों को टोल गेट पार करने के लिए एक हजार रुपये की मांग की थी। एक घायल पर्यटक ने कहा कि हम नंदनकानन से लौट रहे थे। टोल गेट कर्मचारियों ने दो बसों के लिए एक हजार रुपये की मांग की। जब बस मालिक ने कहा कि 200-200 रुपये के करीब फीस है, तो स्टाफ ने मना कर दिया। शुरुआत में कुछ कर्मचारी थे और बाद में और लोग मौके पर पहुंचे और हम पर हमला करना शुरू कर दिया।