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हर छात्रा के लिए कम से कम एक बॉयफ्रेंड रखने का निर्देश वायरल

  •  कालेज प्रशासन ने निर्देश को बताया फर्जी, दर्ज करायी शिकायत

  •  जांच में जुटी पुलिस, यह पत्र किसने, क्यों और किस उद्देश्य से लिखा

  • जांच में क्राइम ब्रांच साइबर सेल की भी ली जा सकती है मदद

जगतसिंहपुर। जगतसिंहपुर जिले में एक कॉलेज की छात्राओं के लिए बॉयफ्रेंड अनिवार्य रूप से रखने का निर्देश सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। हालांकि कॉलेज प्रशासन ने इस फर्जी करार दिया है और घटना को लेकर थाने में शिकायत दर्ज करायी है। पुलिस भी मामले की जांच में जुट गयी है। यह पता लगाने का प्रयास किया जा रहा है कि यह पत्र किसने, क्यों और किस उद्देश्य से लिखा है।

जानकारी के अनुसार, सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा निर्देशनामा स्वामी विवेकानंद मेमोरियल (एसवीएम) ऑटोनॉमस कॉलेज के लेटर पर जारी किया गया है। इस फर्जी पत्र की जांच अधिकारियों ने शुरू कर दी है।

बताया जाता है कि यह पत्र में बीते 20 जनवरी उल्लेखित है और यह सोमवार से व्हाट्सएप ग्रुप और पर्सनल चैट के तौर पर भेजा जा रहा था। सिर्फ यही नहीं, इस फ़र्ज़ी पत्र को अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर तेज़ी से वायरल भी किया गया।

इसकी सूचना मिलने पर कॉलेज प्रशासन ने इसका खंडन किया और प्रिंसिपल प्रो. विजय कुमार पात्र ने संलग्न पत्र का प्रिंटआउट मंगलवार को जगतसिंहपुर थाने में सौंपते हुए पूरे मामले की तह तक पहुंचने की अपील की और जल्द से जल्द कार्रवाई करने की मांग की। प्रोफेसर ने कहा कि कुछ गिरोह एसवीएम कॉलेज जैसे शिक्षण संस्थान को बदनाम करने की साजिश रच रहे हैं। पत्र में लिखा कॉलेज नंबर और प्राधिकार का डिजिटल हस्ताक्षर जाली है। पुलिस से इनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की मांग की गई है।

पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक, यह फर्जी पत्र सबसे पहले किस वाट्सएप नंबर से आया, किसे भेजा गया और किसने सबसे पहले सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट किया, इस बात की पूरी जांच की जाएगी। साथ ही यह भी स्पष्ट किया गया है कि जरूरत पड़ने पर क्राइम ब्रांच साइबर सेल की भी मदद ली जाएगी। गौरतलब है कि कल वायरल हुए पत्र में कहा गया था कि प्रत्येक छात्रा को 14 फरवरी से पहले एक बॉयफ्रेंड बनाना होगा। फर्जी नोटिस में यह भी कहा गया है कि प्रत्येक छात्रा को अपने बॉयफ्रेंड के साथ अपनी फोटो सबूत के तौर पर दिखाना होगा अन्यथा उन्हें कॉलेज में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा। सिर्फ इतना ही नहीं पत्र में उल्लेख किया गया है कि ऐसा सुरक्षा कारणों के मद्देनज़र यह आदेश जारी किया गया है।

कॉलेज की एक छात्रा रश्मिता बेहरा ने मीडिया से कहा कि हम सभी ने वायरल नोटिस देखी है। यह वास्तविक नहीं लगती। कुछ असामाजिक तत्वों ने फर्जी नोटिस वायरल कर दी है। इससे हमारे कॉलेज का नाम बदनाम हुआ है। हमारे प्रिंसिपल एक अच्छे इंसान हैं और हमें नहीं लगता कि उन्होंने ऐसा कुछ किया होगा।

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