Home / Odisha / प्रधान ने की भारत-ऑस्ट्रेलियाई शिक्षा परिषद की छठी बैठक की सह-अध्यक्षता

प्रधान ने की भारत-ऑस्ट्रेलियाई शिक्षा परिषद की छठी बैठक की सह-अध्यक्षता

भुवनेश्वर। केंद्रीय शिक्षा और कौशल विकास और उद्यमिता मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने आज द्विपक्षीय बैठक आयोजित की और वेस्टर्न सिडनी यूनिवर्सिटी (डब्ल्यूबीएसयू) में अपने ऑस्ट्रेलियाई समकक्ष जेसन क्लेयर के साथ ऑस्ट्रेलिया भारत शिक्षा परिषद (एआईईसी) की छठी बैठक की सह-अध्यक्षता की।

द्विपक्षीय बैठक के दौरान दोनों मंत्रियों ने शिक्षा, कौशल विकास, अनुसंधान, नवाचार और उद्यमिता में सहयोग को और मजबूत करने के बारे में सार्थक चर्चा की। धर्मेंद्र प्रधान ने ऑस्ट्रेलियाई विश्वविद्यालयों और कौशल संस्थानों द्वारा भारत में अपने परिसरों की स्थापना करने और भारतीय संस्थानों के साथ सहयोग के क्षेत्रों का पता लगाने का स्वागत किया। उन्होंने जेसन क्लेयर को इस वर्ष के अंत तक भारत की यात्रा करने का निमंत्रण भी दिया। दोनों मंत्रियों ने भारत-ऑस्ट्रेलिया व्यापक रणनीतिक के तहत शिक्षा को एक प्रमुख स्तंभ बनाने के दृष्टिकोण से शिक्षण, कौशल और अनुसंधान में सहयोग का विस्तार करने पर भी सहमति व्यक्त की।

ऑस्ट्रेलिया-भारत शिक्षा परिषद की छठी बैठक में धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि एआईईसी संबंधों को आगे बढ़ाने और शिक्षा, कौशल विकास और अनुसंधान की प्राथमिकताओं में कार्य संबंधों को बढ़ावा देने के लिए एक बहुत प्रभावी मंच है। उन्होंने अगले साल भारत में एआईईसी की 7वीं बैठक आयोजित करने के लिए ऑस्ट्रेलिया की टीम को आमंत्रित किया।

प्रधान ने आयुर्वेद, योग, कृषि आदि के क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच अनुसंधान सहयोग करने पर जोर दिया। उन्होंने कौशल प्रमाणन और खनन, लॉजिस्टिक (रसद) प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में सहयोग करने का भी आह्वान किया। उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने डिजिटल विश्वविद्यालय और गति शक्ति विश्वविद्यालय स्थापित किए हैं, जिसके लिए दोनों देश पाठ्यक्रम और अन्य पहलुओं को विकसित करने के लिए मिलकर काम कर सकते हैं।

प्रधान ने ऑस्ट्रेलिया जाने वाले भारतीय छात्रों के वीजा के लंबित मामलों का मुद्दा भी उठाया। ऑस्ट्रेलिया के मंत्री ने वीजा के लंबित मामलों में सहयोग करने और तेजी लाने का आश्वासन दिया। बाद में, मंत्रियों ने एक संयुक्त प्रेस सम्मेलन भी आयोजित किया। जिसमें उन्होंने दोनों देशों में नियामक समायोजन की साझा समझ बनाने और संस्थानों की दो-तरफा गतिशीलता के अवसरों को बढ़ावा देने के लिए अंतरराष्ट्रीय शिक्षा पर एक कार्य समूह की स्थापना की घोषणा की। प्रधान ने इस बात को दोहराया कि भारत ज्ञान सेतु का निर्माण करने और परस्पर प्रगति और समृद्धि के लिए शिक्षा, कौशल और अनुसंधान में ऑस्ट्रेलिया के साथ द्विपक्षीय संबंधों को अधिक मजबूत बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।

एनएसडब्ल्यू शिक्षा मंत्री सारा मिशेल एमएलसी के साथ धर्मेंद्र प्रधान एक स्कूल का दौरा करेंगे। वे सिडनी स्थित टीएएफई एनएसएफ और न्यू साउथ वेल्स यूनिवर्सिटी (यूएनएसडब्ल्यू) भी जाएंगे, जहां वे कुलपतियों और ऑस्ट्रेलियाई सरकार तथा शिक्षा विभाग के वरिष्ठ प्रतिनिधियों के साथ बातचीत करेंगे।

Share this news

About desk

Check Also

धान खरीद में कटनी व छटनी की प्रक्रिया होगी बंद

बरगढ़ जिले में 20 नवंबर से शुरू होगी धान की खरीद किसानों के हित में …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *