Home / National / रामभक्त और रामद्रोही के बीच सिमटा पूरा चुनाव: योगी आदित्यनाथ

रामभक्त और रामद्रोही के बीच सिमटा पूरा चुनाव: योगी आदित्यनाथ

  • भाजपा की उम्मीदवार कंगना रनौत के लिए योगी ने मांगा जनता से समर्थन

कुल्लू। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को लोकसभा चुनाव में भाजपा की उम्मीदवार कंगना रनौत के लिए जनता से समर्थन मांगा और कांग्रेस पर तीखे प्रहार किए। उन्होंने कहा कि जो कांग्रेस केंद्र में सरकार बनाने की बात कर रही है, वो देश में चार सौ सीटों पर चुनाव भी नहीं लड़ रही है।
मुख्यमंत्री योगी कुल्लू के रथ मैदान पर एक चुनाव सभा काे संबोधित कर रहे थे। योगी ने कहा कि हिमाचल की लड़की कंगना में विरोधियों से जूझने के लिए महारानी लक्ष्मीबाई का वीरांगना भाव भी है। कंगना ने कांग्रेस और उद्धव ठाकरे को सड़कों पर लाकर पानी पिलाने के लिए मजबूर कर दिया था। तब पूछते थे ये लड़की कौन है। योगी ने कहा कि आज कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक पूरे देश में एक ही नारा गूंज रहा है और वो है फिर एक बार मोदी सरकार, अब की बार चार सौ पार।

योगी ने कहा कि आज पूरा चुनाव रामभक्त और राम द्रोहियों के बीच में सिमट कर रह गया है। जनता जनार्दन आज एक ही बात कह रही है, जो राम को लाएं हैं उन्हीं को लाएंगे। रामभक्त वही जिस के लिए भारत का हित सर्वोपरि है। योगी ने कहा कि वो राम द्रोही हैं जो नक्सलवाद और आतंकवाद का समर्थन करते हैं। वो रामद्रोही हैं, जिन्होंने देश को अपमानित करने का काम किया, जिन लोगों ने गरीबों के हितों पर डाका डाला।

मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि आज नया भारत किसी को छेड़ता नहीं है अगर कोई छेड़ता है तो फिर छोड़ता नहीं है। आज देश के किसी कोने में छोटा सा पटाखा भी बजता है तो पाकिस्तान सफाई देता है कि हमने कुछ नहीं किया। योगी ने कहा कि कांग्रेस कहती है कि झटके में गरीबी हटा देंगे। जब पूछा कि कैसे हटाओगे तो कहते हैं कि सर्वे करवाएंगे। आपके बाप दादा की संपति का सर्वे करने के बाद आधी संपत्ति किसी घुसपैठिए को बांग्लादेशी को दे दी जाएगी। योगी ने कहा कि क्या आप इसी पार्टी को सता में लाना चाहते हैं, जो आपकी संपति को घुसपैठियों को दे दे।
साभार – हिस

Share this news

About desk

Check Also

प्रधानमंत्री ने बजट पर सुझाव के लिए अर्थशास्त्रियों के साथ बैठक की

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को नई दिल्‍ली में जाने-माने अर्थशास्त्रियों और विशेषज्ञों …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *