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च्वाइस वेलफेयर फाउण्डेशन के सहयोग से महाराष्ट्र में खुलेगी कीस की नई शाखा

  •  च्वाइस वेलफेयर फाउंडेशन एवं कीस के बीच करारनामा पर हुआ हस्ताक्षर

भुवनेश्वर. च्वाइस वेलफेयर फाउण्डेशन के सहयोग से कलिंगा इंस्टीट्यूट आफ सोशल साइंस (कीस) महाराष्ट्र में अपनी नई शाखा खोलने जा रही है. इस संबंध में ऐतिहातिक करारनामे पर च्वाइस वेलफेयर फाउण्डेशन मुंबई की तरफ से सुनील पटोदिया एवं कीस की तरफ से कीट-कीस के प्राणप्रतिष्ठाता तथा कंधमाल लोकसभा सांसद प्रोफेसर अच्युत सामंत ने 16 जनवरी को हस्ताक्षर किया है.
मिली जानकारी के अनुसार महाराष्ट्र में कीस की नई शाखा खुलने से वहां के आदिवासी बच्चों को उत्कृष्ट शिक्षा के क्षेत्र में बहुत फायदा होगा. गौरतलब है कि पटोदिया प्रोफेसर अच्युत सामंत के सबसे बडे शुभचिंतक 2013 से ही रहे हैं जिन्होंने कीस भुवनेश्वर की महाराष्ट्र में नई शाखा खुलवाकर बहुत बडा सहयोग किया है. करारनामे पर हस्ताक्षर के वक्त कीर्ति अजमेरी, सीइओ, अजमेरा प्रोपर्टीज,पारस जैन, चेयरमैन रुचिरा इक्सपोर्ट तथा कीस की ओर से प्रोफेसर दीपक कुमार बेहरा, कुलपति, कीस डीम्ड विश्वविद्यालय, भुवनेश्वर, कीट डीम्ड विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर एस सामंत, कीस, भुवनेश्वर के सीइओ डा पी के राइतराय तथा कीस के महानिदेशक कान्हु जरण महाली आदि उपस्थित थे. मुबई के आउटस्कर्ट पर कुल 25 एकड भू-भाग पर बनेगा यह नया आदिवासी आवासीय विद्यालय जिसके इन्फ्रास्ट्रक्चर से लेकर सभी प्रकार की मौलिक सुविधाएं च्वाइस वेलफेयर फाउण्डेशन मुंबई अपनी ओर से उपलब्ध कराएगा.
कीस को एक सफल मॉडल के रूप में मान्यता मिलने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए, डॉ सामंत ने कहा, यह ओडिशा के लिए गर्व की बात है कि कीस को भारत के तीन महानगरीय शहरों में स्थापित किया गया है. कीस-दिल्ली 2013 से काम कर रही है, जबकि एचयूएचटी-कीस रेजिडेंशियल स्कूल, कोलकाता के हेल्पयू हेल्प देम के सहयोग से इंफ्रास्ट्रक्चर का काम पूरा हो चुका है. अब कीस की स्थापना मुंबई में की जाएगी.

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