भुवनेश्वर. पांच करोड़ रुपये गबन के आरोप में जेल में बंद भारत सरकार के दिव्यांग सशक्तिकरण विभाग के अंतर्गत स्वामी विवेकानंद राष्ट्रीय पुनर्वास प्रशिक्षण व अनुसंधान संस्थान (निरतार) के कटक के ओलटपुर के एकाउंटेंट राजकिशोर नायक के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाए. कलिंग विकास मंच के अध्यक्ष दीपक कुमार महंत ने आज यहां यह मांग की.
महंत ने बताया कि कलिंग विकास मंच ने इस संबंध में केन्द्रीय दिव्यांग सशक्तिकरण विभाग के सचिव को पत्र लिखा है. इस पत्र में कहा गया है कि नायक 2016 अप्रैल से 2020 दिसंबर तक सुवर्णपुर स्थित राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में संविदा आधार पर एकाउंटेंट के रुप में कार्य कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने निरतार द्वारा संचालित बलांगीर में स्थित क्षेत्रीय केन्द्र के एकांटेंट के पद के लिए उन्होंने आवेदन दिया था और यहां भी उनका संविदा के आधार पर चयन हुआ था, लेकिन आश्यर्य की बात यह कि बलांगीर के केन्द्र के लिए चयनित नायक कटक के ओलटपुर में निरतार के स्थायी एकाउंटेट के रुप में कार्य करने लगे. इस दौरान उन पर राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन सुवर्णपुर के पब्लिक फाइनेंसिएल मैनेजमेंट सिस्टम को हैक कर 5 करोड़ एक लाख 50 हजार रुपये का गबन करने आरोप लगा. सुवर्णपुर के जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी के प्राथमिकी के आधार पर क्राइम ब्रांच के इकोनामिक आफेंस विंग ने उन्हें कटक स्थित निरतार कार्यालय से गत 9 तारीख को गिरफ्तार कर लिया. इस पत्र में यह भी कहा गया है कि नियम के अनुसार 48 घंटे से अधिक जेल में रहने वाले सरकारी कर्मचारी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई होने का प्रावधान है. उनके 9 जून से जेल में होने के बाद उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई नहीं हुई है. किन परिस्थितों में बलांगीर में संविदा आधार पर काम करने वाले राजकिशो निरतार कटक में काम किया और काफी दिनों बाद भी उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई क्यों नहीं हो रही है, इस पर जांच करने की मांग इस पत्र में की गई है. साथ ही दोषियों के खिलाफ भी कार्रवाई करने की मांग की गई है.