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धर्मांतरण को रोकने संबधी कानून के तहत सरकार करे कार्रवाई
भुवनेश्वर. लाकडाउन के दौरान राज्य के कुछ हिस्से में मिशनरियों द्वारा अवैध रुप से धर्मांतरण किया जा रहा है. राज्य में धर्मांतरण विरोधी कानून होने के बाद भी इस कानून का प्रयोग नहीं हो रहा है. भुवनेश्वर के पास दारुठेंग पंचायत के भालुंका गांव में मिशनरियों द्वारा गत 23 जून को ईसाई प्रार्थना सभा किये जाने का मामला सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो गया है. अतः राज्य सरकार को चाहिए कि कानून का प्रयोग कर इस तरह की गतिविधियों पर तत्काल रोक लगाये व दोषियों के खिलाफ कडी कार्रवाई करे. अन्यथा विश्व हिन्दू परिषद इसके खिलाफ आंदोलन करने पर मजबूर होगा. विहिप के ओडिशा (पूर्व) के सचिव प्रशांत पंडा ने ये बातें कहीं.
उन्होंने कहा कि गत 23 जून की शाम को भुवनेश्वर के निकट भालुंका गांव में मिशनरियों द्वारा प्रार्थना सभा का आयोजन किया गया था. कोविद नियमों के उल्लंघन के आरोप में पुलिस ने वहां बाहर के नौ लोगों को हिरासत में लिया था और बाद में छोड़ दिया था. उन्होंने कहा कि बाहर के लोग लाकडाउन के दौरान वहां कैसे पहुंचे इसकी जांच होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि ये लोग वहां नीरिह जनजातीय लोगों का मतांतरण करवाने के कार्य में लगे हैं. यह सारी प्रक्रिया अवैध रुप से व कानून के ठेंगा दिखा कर किया जा रहा है. प्रशासन भी मूकदर्शक बना हुआ है. उन्होंने कहा कि इस मामले के आरोपियों के खिलाफ यदि प्रशासन कार्रवाई नहीं करती तो विहिप इसके खिलाफ आंदोलन करेगी.