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अभामामस ने मनाया 11वां राष्ट्रीय अंगदान दिवस

कटक. अखिल भारतीय मारवाड़ी महिला सम्मेलन ने “11वां राष्ट्रीय अंगदान दिवस” मनाया. ज्ञात हो कि प्रतिवर्ष हजारों की संख्या में लोग अंगों के इंतजार में अपने प्राण से हाथ धो बैठते हैं, क्योंकि प्रत्यारोपण हेतु उपलब्ध नहीं होते हैं. इसके लिए सचेतनता लाने के लिए कोरोना के इस काल में वेबीनार के द्वारा यह दिवस मनाया गया. भारत के विभिन्न प्रदेशों मैं अब तक 15 वेबीनार संपन्न हो चुके हैं. राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित किए गए इस वेबीनार में राष्ट्रभर से करीब 200 लोग सपरिवार जुड़े थे. वेबीनार में गणेश वंदना, प्रार्थना का गायन, कटक समिति की वरिष्ठ सदस्य कोकिलकंठी श्रीमती अनुराधा मोदी द्वारा किया गया. सुविख्यात मोहन फाउंडेशन की वरिष्ठ, अनुभवी डॉक्टर हेमल कान्विंडे ने इस वेबीनार में अंगदान और उसकी प्रक्रिया से लोगों को अवगत करवाया. उनके प्रेरक एवं जानकारियों भरे वक्तव्य की सभी ने बहुत सराहना की. राष्ट्रीय स्तर पर अंगदान की वीडियो की प्रतियोगिता संस्था द्वारा रखी गई थी, जिसमें 19 प्रदेशों से बहुत बढ़-चढ़कर सबने हिस्सा लिया. इनमें सबको भाग लेने वाले हर प्रदेश के वीडियो को समयमान देने प्रमाणपत्र दिया एवं विजेताओं को घोषित किया गया. इसमें प्रथम स्थान पर वेस्ट बंगाल द्वितीय पर महाराष्ट्र और तृतीय पर गुजरात और झारखंड थे. ओडिशा को अपनी प्रस्तुति हेतु विशेष पुरस्कार एवं छत्तीसगढ़ और बिहार को सांत्वना पुरस्कार के विजेता घोषित किया गया. राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमती शारदाजी लखोटिया ने इस कार्यक्रम की भूरि भूरि प्रशंसा की. अंगदान का यह प्रकल्प श्रीमती उषाजी टीबड़ेवाल के सत्र में 2018 में शुरू किया गया था. गौरतलब हो कि महिला सम्मेलन ने पिछले वर्ष ही अंगदान पर एक वृहद कार्य करके 16,108 महिलाओं द्वारा एक दिन पदयात्रा करके अंगदान जागरूकता फैलाई और इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड एवं एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड में संस्था का नाम स्वर्णाक्षरों में दर्ज़ करवाया था. उन्होंने इस सत्र में इस विषय पर किए जाने वाले कार्यों पर बहुत प्रसन्नता व्यक्त की. श्रीमती संध्याजी अग्रवाल जो संस्था की राष्ट्रीय प्रकल्प प्रमुख हैं, उन्होंने सबको देहदान और अंगदान के लिए आह्वान किया और कहा कि पुराने विचारों से निकलें और आज के समय की मांग अंगदान पर विश्वास करें. उन्होंने कहा कि ऋषि दधीचि ने हड्डियों का दान किया था और हम सब उन्हीं के वंशज हैं. इस पूरे वेबीनार में पूरे भारत के हर प्रदेश से जुड़ी हुई महिलाओं के कार्यों की आपने बहुत प्रशंसा की एवं कार्यक्रम की सफ़लता का श्रेय सभी को दिया. संस्था की पूर्व उपाध्यक्ष कुमकुमजी, उत्तरांचल प्रमुख श्रीमती अंजू सरावगी, कटक शाखा की नेत्रदान प्रमुख श्रीमती रितु मोड़ा ने अपना पूर्ण सहयोग देकर कार्यक्रम को सफ़ल बनाया.

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