Home / Odisha / भुवनेश्वर में साइंस सिटी, नवाचार को बढ़ावा के लिए केंद्र से सहयोग की मांग

भुवनेश्वर में साइंस सिटी, नवाचार को बढ़ावा के लिए केंद्र से सहयोग की मांग

  • विकसित ओडिशा 2036 रोडमैप के तहत पूर्वी भारत को वैज्ञानिक केंद्र में बदलने की तैयारी

  • ओडिशा के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री कृष्ण चंद्र पात्र ने प्रस्ताव केंद्रीय राज्य मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह को सौंपा

भुवनेश्वर। ओडिशा सरकार ने राजधानी भुवनेश्वर में एक अत्याधुनिक साइंस सिटी की स्थापना के लिए केंद्र सरकार से सहयोग की औपचारिक मांग की है। इस परियोजना का उद्देश्य भुवनेश्वर को पूर्वी भारत में वैज्ञानिक नवाचार और विज्ञान के प्रति जनसंपर्क का प्रमुख केंद्र बनाना है।

यह पहल ‘विकसित ओडिशा 2036’ रोडमैप के तहत की जा रही है, जिसमें वैज्ञानिक अवसंरचना को सुदृढ़ करते हुए ज्ञान-आधारित भविष्य की नींव रखने का लक्ष्य है।

3 जुलाई को नई दिल्ली में आयोजित एक उच्चस्तरीय बैठक में ओडिशा के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री कृष्ण चंद्र पात्र ने यह प्रस्ताव केंद्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह को सौंपा।

केंद्र ने जताई सकारात्मक प्रतिक्रिया

डॉ सिंह ने इस प्रस्ताव की सराहना करते हुए अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे राष्ट्रीय विज्ञान संस्थानों और मंत्रालयों के साथ मिलकर अगली प्रक्रिया शुरू करें। उन्होंने यह भी कहा कि इस प्रस्तावित साइंस सिटी को ओडिशा में पहले से मौजूद सीएसआईआर लैब्स और इसरो केंद्रों से जोड़ा जाए, ताकि समन्वित विकास हो।

साइंस सिटी के लिए 100 एकड़ भूमि आरक्षित

ओडिशा सरकार ने पहले ही भुवनेश्वर में 100 एकड़ भूमि इस परियोजना के लिए आरक्षित कर दी है। यह साइंस सिटी कोलकाता और हैदराबाद में मौजूद विज्ञान शहरों की तर्ज पर विकसित की जाएगी, जिसमें इंटरएक्टिव डिस्प्ले, खोज केंद्र, अनुसंधान हब और छात्रों के लिए व्यावहारिक प्रयोगशालाएं शामिल होंगी।

जैव प्रौद्योगिकी पार्क और खगोल वेधशाला भी प्रस्तावित

साइंस सिटी के अलावा राज्य सरकार ने भुवनेश्वर में एक बायोटेक्नोलॉजी पार्क, एक खगोल वेधशाला, बंगाल की खाड़ी तटीय वेधशाला, पेटेंट एवं बौद्धिक संपदा सुविधा केंद्र, और जैव प्रौद्योगिकी विभाग के तहत कई परियोजनाओं के लिए भी केंद्र से सहयोग मांगा है।

यह प्रस्ताव ओडिशा को पूर्वी भारत में विज्ञान और नवाचार का अग्रणी केंद्र बनाने की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है। यदि केंद्र सरकार से सहयोग मिलता है, तो साइंस सिटी न केवल वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देगी, बल्कि छात्रों और शोधकर्ताओं के लिए एक प्रेरणास्त्रोत भी बनेगी।

Share this news

About desk

Check Also

भुवनेश्वर रैली में राहुल गांधी का हमला: “संविधान को कमजोर कर रही है भाजपा, सरकार उद्योगपतियों के लिए, जनता के लिए नहीं”

भुवनेश्वर, लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *