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भारतीय कला और संस्कृति की लोकप्रियता पर प्रकाश डालते हुए प्रधानमंत्री ने की ओडिशी नृत्य की प्रशंसा
भुवनेश्वर। ओडिशा के शास्त्रीय ओडिशी नृत्य, जो विश्वभर में अपनी विशिष्ट पहचान रखता है, का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लोकप्रिय कार्यक्रम मन की बात के 115वें एपिसोड में विशेष उल्लेख किया गया। प्रधानमंत्री ने रविवार को इस कला रूप की प्रशंसा की और बताया कि कैसे भारतीय कला, संस्कृति और शास्त्रीय नृत्य का प्रभाव दुनिया भर में बढ़ रहा है और विदेशी लोग इनकी ओर आकर्षित हो रहे हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने पेरू का उदाहरण देते हुए कहा कि पेरू में एरलिंडा गार्सिया और मारिया वाल्डेस क्रमशः भरतनाट्यम और ओडिशी नृत्य को लोकप्रिय बना रही हैं, जो दर्शाता है कि भारतीय शास्त्रीय नृत्य दक्षिण अमेरिका में लोकप्रियता की नई लहरें पैदा कर रहा है। उन्होंने कहा कि जहां भी कला है, वहां भारत है। जहां भी संस्कृति है, वहां भारत है।
प्रधानमंत्री ने भारतीय सांस्कृतिक पहलों को साझा करने के लिए लोगों को कल्चर ब्रिज हैशटैग का उपयोग करने के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि भविष्य में मन की बात के एपिसोड्स में यह एक नियमित विशेषता बनेगा।
संबलपुरी साड़ी का भी हो चुका है उल्लेख
यह पहली बार नहीं है जब प्रधानमंत्री ने ओडिशा की सांस्कृतिक धरोहर का उल्लेख किया हो। इससे पहले मन की बात के 112वें एपिसोड में प्रधानमंत्री ने ओडिशा की संबलपुरी साड़ी के बारे में भी बात की थी, जो अपने विशिष्ट हस्तशिल्प डिजाइनों के लिए दुनियाभर में पहचान बना चुकी है।
प्रधानमंत्री के इस कार्यक्रम में ओडिशा के सांस्कृतिक योगदान की चर्चा ने राज्यवासियों में गर्व की भावना का संचार किया है और भारतीय कला एवं संस्कृति के वैश्विक प्रभाव को और मजबूती से स्थापित किया है।