Home / Odisha / सेना अधिकारी व मंगेतर के नाम प्रकाशन पर रोक

सेना अधिकारी व मंगेतर के नाम प्रकाशन पर रोक

  • जनहित याचिका पर सुनवाई उच्च न्यायालय ने दिया निर्देश

भुवनेश्वर। कटक स्थित उच्च न्यायालय ने भरतपुर थाने में मारपीट मामले में सेना अधिकारी और उसकी मंगेतर के नाम इलेक्ट्रॉनिक, प्रिंट या सोशल मीडिया के माध्यम से प्रकाशित करने पर रोक लगाने का निर्देश जारी किया है। यह निर्णय एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए लिया गया है और उच्च न्यायालय ने पहले इस घटना का स्वतः संज्ञान लिया था।

उच्च न्यायालय ने घटना पर चिंता व्यक्त की है, लेकिन मामले में हस्तक्षेप नहीं करने का निर्णय लिया है। महाधिवक्ता ने न्यायालय को सूचित किया कि राज्य सरकार ने पहले ही घटना की न्यायिक जांच के आदेश दे दिए हैं। इसके बाद न्यायालय़ ने इस मामले में हस्तक्षेप न करने का निर्णय किया।

ओडिशा सरकार ने न्यायालय को पांच पुलिस अधिकारियों के निलंबन के बारे में सूचित किया है और अपराध शाखा भी मामले की जांच कर रही है। उच्च न्यायालय यह सुनिश्चित करेगा कि पुलिस थानों में सभी सुविधाएं उपलब्ध हों।

राज्य के 57 थानों में सीसीटीवी कैमरे नहीं

अदालत ने राज्य के 650 पुलिस थानों में से 57 पुलिस थानों में सीसीटीवी कैमरे नहीं हैं। यह जानने के बाद अदालत ने अपनी नाराजगी व्यक्त की।

एडीजी से रिपोर्ट तलब

पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए उच्च न्यायालय ने एडीजी को राज्यभर के पुलिस स्टेशनों में सीसीटीवी कैमरों पर स्थिति रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। न्यायालय ने मामले की देखरेख के लिए एमिकस क्यूरी भी नियुक्त किया। बताया जा रहा है कि मामले की अगली सुनवाई 9 अक्टूबर को होगी।

Share this news

About desk

Check Also

ओडिशा में अब हर महीने मिलेगा राशन चावल

ओडिशा के खाद्य मंत्री ने की घोषणा नए साल शुरू होगा वितरण भुवनेश्वर। नए साल …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *