-
आदिवासियों के अधिकारों की सुरक्षा का कदम
-
27 साल बाद आएगा बदलाव, ओडिशा को छोड़कर देशभर में लागू है यह अधिनियम
-
ग्रामीण विकास मंत्री ने पेसा अधिनियम को लागू करने की योजना की घोषणा की
भुवनेश्वर। ओडिशा सरकार जल्द ही अनुसूचित क्षेत्रों में पंचायतों के विस्तार (पेसा) अधिनियम को लागू करने की योजना बना रही है। यह जानकारी रविवार को ग्रामीण विकास मंत्री रवि नारायण नायक ने दी।
मोहान माझी सरकार सुप्रीम कोर्ट के फैसले के 27 साल बाद इस महत्वपूर्ण अधिनियम को लागू करने जा रही है। मंत्री नायक ने कहा कि आदिवासियों के अधिकारों की सुरक्षा के लिए पेसा अधिनियम आवश्यक है।
अधिनियम की उपयोगिता
पेसा अधिनियम का मुख्य उद्देश्य आदिवासी समुदायों के पारंपरिक अधिकारों की सुरक्षा करना और उन्हें उनके प्राकृतिक संसाधनों पर नियंत्रण देना है। इससे आदिवासी क्षेत्रों में स्वशासन को बढ़ावा मिलेगा और उनकी सामाजिक-आर्थिक स्थिति में सुधार होगा।
योजना और जागरूकता
मंत्री नायक ने बताया कि सभी निर्वाचन क्षेत्रों को समूहों में विभाजित किया जाएगा और व्यक्तियों व परिवारों के अधिकारों की सुरक्षा के लिए योजनाएं बनाई जाएंगी। उन्होंने आदिवासी लोगों की घटती संख्या पर चिंता व्यक्त की और इस बारे में जागरूकता बढ़ाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
विधानसभा सत्र में बिल
उन्होंने कहा कि केवल ओडिशा को छोड़कर देशभर के सभी राज्यों में पेसा अधिनियम लागू हो चुका है। पंचायतीराज विभाग अगले सत्र में अधिनियम के कार्यान्वयन के लिए प्रावधान करेगा। मेरा विभाग इस बिल को लाएगा। राज्य में पेसा अधिनियम का कार्यान्वयन आदिवासी लोगों की लंबे समय से चली आ रही मांग थी।