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विधानसभा में शोक प्रस्ताव पारित
कटक। ब्रिटिश राज के दौरान भारत की रियासतों में से एक तथा वर्तमान में ओडिशा के कटक जिले के टिगिरिया ब्लॉक में स्थित टिगिरिया एस्टेट की अंतिम रानी महारानी रासमंजरी देवी का वृद्धावस्था संबंधी बीमारियों के कारण उनके घर पर निधन हो गया। उन्होंने रविवार को अंतिम सांस ली। वह 96 वर्ष की थीं।
बताया जता है कि गड़जात शासन के अंतिम राजा स्वर्गीय ब्रजराज बीरबर क्षत्रिय चंपतिसिंह महापात्र की पत्नी रासमंजरी देवी जनता दल पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ने के बाद आठगढ़ विधानसभा क्षेत्र से चुनी गईं और 1977 से 1980 तक विधायक रहीं। उसकी मौत की खबर फैलते ही इलाके में मातम छा गया। इधर, पूर्व विधायक रासमंजरी देवी के निधन पर आज विधानसभा में शोक प्रस्ताव पारित किया गया। सुबह साढ़े दस बजे विधानसभा की कार्यवाही प्रारंभ होते ही विधानसभा अध्यक्ष विक्रम केसरी आरुख ने शोक प्रस्ताव पेश करने के लिए सदन के नेता मुख्यमंत्री नवीन पटनायक से कहा। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक वर्चुअल माध्यम से जुड़कर शोक प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल के पुरुलिया में जन्म लेने वाली टिगिरिया रियासत के पूर्व शासिका रासमंजरी देवी का रविवार को निधन हो गया है। वह 1977 में आठगढ़ विधानसभा सीट से विधायक रहीं तथा कटक जिला परिषद के उपाध्यक्ष भी रहीं। उनके निधन से राज्य को नुकसान हुआ है।
मुख्यमंत्री द्वारा लाये गये इस शोक प्रस्ताव को प्रतिपक्ष के नेता जय नारायण मिश्र व कांग्रेस की ओर से विधायक संतोष सिंह सालुजा ने समर्थन किया। इसके बाद दिवंगत आत्मा की सदगति की कामना करने के लिए एक मिनट मौन प्रार्थना की गई।