
भुवनेश्वर – पुरी गोवर्धन पीठ के शंकराचार्य निश्चलानन्द सरस्वती के सरनेम पर कांग्रेस विधायक दल के नेता नरसिंह मिश्र ने जो सवाल उठाया है, वह निंदनीय है। शंकराचार्य की शिक्षा व जाति को लेकर उन्होंने जो सवाल किया है, वह दुर्भाग्यपूर्ण है। इसे लेकर श्री मिश्र को क्षमायाचना करनी चाहिए। भाजपा प्रवक्ता गोलक महापात्र ने पार्टी कार्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन में यह बात कही। महापात्र ने कहा है कि जगदगुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती पुरी के गोवर्धन पीठ के शंकराचार्य हैं, य़ह बात न्यायालय में प्रमाणित हो चुकी है, लेकिन इसके बावजूद कांग्रेस विधायक दल के नेता द्वारा जान बुझ कर सवाल उठाया जाना न सिर्फ दुर्भाग्यपूर्ण है बल्कि हिन्दुओं के भावना केप्रति कुठाराघात है। ऐसा कर न केवल साढे चार करोड़ ओडिशा के लोग बल्कि पूरे हिन्दू समाज के मार्गदर्शक निश्चलानंद सरस्वती के प्रति अपशब्द बोल कर कांग्रेस ने अपनी संस्कृति का परिचय दिया है। उन्होंने कहा कि कानून मंत्री रहते समय भी नरसिंह मिश्र ने जगदगुरु शंकराचार्य के प्रति विवादीय बयान दिया था। यह उनकी पुरानी आदत है। उन्हें इस मामले में तत्काल क्षमायाचना करनी चाहिए।
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