-
सोशल मीडिया के महासम्मेलन से आईटी मंत्री तुषारकांति बेहरा का आह्वान
-
कहा-गलत संदेश भेजने वालों पर दर्ज करायें शिकायत
-
डिजिटल डेमोक्रेसी और लिटरेसी को कोर्स में शामिल करने की वकालत
भुवनेश्वर. राजधानी में आयोजित सोशल मीडिया के महासम्मेलन में राज्य के खेल और आईटी मंत्री तुषार कांति बेहरा ने लोगों से आह्वान किया कि सोशल मीडिया पर ट्रोल करने वालों का सख्त विरोध करें और इनकी शिकायत स्थानीय थानों में दर्ज करायें. उन्होंने कहा कि जिस तरह से आप गतल चीजों को रोकने के लिए जब फीजकली विरोध दर्ज कराते हैं, ठीक उसी तरह से वर्चुअल दुनिया में भी गंदगी फैलने से रोकने के लिए कड़ा विरोध रद्ध करायें. उन्होंने कहा कि यदि कोई भी आपको सोशल मीडिया पर गलत संदेश भेजता है तो उसके खिलाफ आप शिकायत दर्ज करायें. इस कार्यक्रम में मंत्री बेहरा ने सोशल मीडिया के सकारात्मक प्रयोग का आह्वान करते हुए उदाहरण पेश किया. साथ ही उन्होंने डिजिटल डेमोक्रेसी और लिटरेसी को पढ़ाई का हिस्सा बनाने की वकालत की. उन्होंने कहा कि अब डिजिटल दुनिया ने लोगों को अभिव्यक्ति के लिए खुला स्थान दिया है, ऐसी स्थित में इसके सही प्रयोग के लिए डिजिटल डेमोक्रेसी और लिटरेसी भी जरूरी है. उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया के कारण मीडिया की नियंत्रण को झटका लगा है, जहां कभी-कभी बड़े मुद्दों को दबा दिया जाता था. अब यहां लोगों को खुलापन मिल गया है.
जिंदगी संवारने में करें सोशल मीडिया का उपयोग – एबी सिंह
जिंदगी फाउंडेशन के संस्थापक अजय बहादुर सिंह ने कहा कि सोशल मीडिया का उपयोग आप किसी की जिंदगी संवारने के लिए करें. उन्होंने अपनी संस्था जिंदगी फाउंडेशन के कार्यों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि सोशल मीडिया से एक छात्र को इसकी जानकारी मिली और आज वह जिंदगी फाउंडेशन की मदद से निःशुल्क तैयारी कर डाक्टर बन रहा है.इस तरह से कई बच्चों का सपना साकार हो रहा है. जिंदगी फाउंडेशन गरीब और प्रतिभावन बच्चों के सपने सकार करने में जुटा है. सिंह ने कहा कि यदि जिंदगी फाउंडेशन की तरह अगर आपके सोशल मीडिया के प्रयोग से किसी का फायदा होता है, इससे बड़ा काम कुछ भी नहीं होगा.
सोशल मीडिया पर संपादन की व्यवस्था जरूरी – हेमन्त तिवारी
सोशल मीडिया के दुरुपयोग को रोकने के लिए संदेशों के संपादन जैसी व्यवस्था लागू करने की जरूरत है. उक्त बातें नवभारत के संपादक तथा इण्डो एशियन टाइम्स के प्रबंध संपादक हेमन्त कुमार तिवारी ने कहीं. उन्होंने कहा कि वर्चुअल दुनिया आम आदमी की असली दुनिया का हिस्सा बनती जा रही है, जिससे इसके प्रभाव और कुप्रभाव बढ़ते जा रहे हैं. इसलिए लोगों को इसको जिंदगी का हिस्सा नहीं बनाना चाहिए. इसे संचार का माध्यम ही रहने दिया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया की शुद्धता बनाये रखने के लिए इसमें से फारर्वड करने की व्यवस्था को हटा दिया जाना चाहिए. इससे बल्क मैसेजिंग लगभग खत्म हो जायेगी.