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इकोर के 15 प्रमुख स्टेशन होंगे कैमरे की नजर में कैद

  •  कार्य जनवरी 2023 तक पूरा होने की संभावना है।

  •  रेलवे में नई तकनीक को तेजी से समाहित करने की जरूरत: श्री. अश्विनी वैष्णव

भुवनेश्वर. पूर्व तट रेलवे (ईकोर) के अधीनस्थ 15 प्रमुख स्टेशन कैमरे की नजर में कैद होंगे. यह जानकारी इकोर की ओर से जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में दी गयी है. बताया गया है कि इसके साथ ही 756 प्रमुख स्टेशनों पर वीडियो निगरानी प्रणाली (वीएसएस) के कार्य के लिए एजेंसियों को अंतिम रूप दिया गया है. इसमें इकोर के 15 प्रमुख स्टेशनों में वीडियो निगरानी प्रणाली (वीएसएस) होगी. परियोजना भारतीय रेलवे द्वारा निर्भया कोष के तहत क्रियान्वित की जा रही है. कार्य जनवरी 2023 तक पूरा होने की संभावना है.
सुरक्षा व्यवस्था होगी मजबूत
रेलवे स्टेशन परिसर में सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने के उद्देश्य से भारतीय रेलवे इकोर अधिकार क्षेत्र से XXX स्टेशनों सहित देशभर के 756 रेलवे स्टेशनों पर निर्भया फंड के तहत वीडियो निगरानी प्रणाली (वीएसएस) परियोजना (सीसीटीवी कैमरा नेटवर्क) को लागू करने जा रहा है. एजेंसी के माध्यम से कार्य निष्पादन को भी अंतिम रूप दे दिया गया है. परियोजना के पहले चरण में श्रेणी-ए1, ए, बी, सी संख्या 756 प्रमुख स्टेशनों को कवर किया जायेगा और जनवरी 2023 तक पूरा होने की संभावना है. शेष स्टेशनों को कार्यान्वयन के चरण -2 में शामिल किया जाएगा. पूरा का पूरा स्टेशन परिसर पर कैमरे से निगरानी रखी जायेगी.
रेलवे में नई तकनीक को तेजी से अपनाने की आवश्यकता
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि हमें रेलवे में नई तकनीक को तेजी से अपनाने की आवश्यकता है, चाहे वह रोलिंग स्टॉक, निर्माण, सुरक्षा, साइबर सुरक्षा, या ऐसी स्थितियों में जहां लोगों से सामना होता हो. रेलटेल के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक अरुणा सिंह ने आश्वासन दिया कि निष्पादन एजेंसियों को अंतिम रूप देने के साथ-साथ परियोजना के कार्यान्वयन को तेजी से ट्रैक किया जायेगा. इस प्रोजेक्ट में सबसे आधुनिक सॉफ्टवेयर और हार्डवेयर का इस्तेमाल किया जायेगा. यह वीएसएस सिस्टम आईपी आधारित होगा और इसमें सीसीटीवी कैमरों का नेटवर्क होगा. इन सीसीटीवी को ऑप्टिकल फाइबर केबल पर नेटवर्क किया जा रहा है और सीसीटीवी कैमरों की वीडियो फीड न केवल स्थानीय आरपीएफ चौकियों पर बल्कि मंडल और क्षेत्रीय स्तर पर एक केंद्रीकृत सीसीटीवी नियंत्रण कक्ष में भी प्रदर्शित की जायेंगी. रेलवे परिसरों में बेहतर सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए इन तीन स्तरों पर स्टेशनों के सीसीटीवी कैमरों और वीडियो फीड की निगरानी की जायेगी.
सिस्टम आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) सक्षम वीडियो एनालिटिक्स सॉफ्टवेयर और फेशियल रिकग्निशन सॉफ्टवेयर के साथ आता है, जो स्टेशन परिसर में प्रवेश करने पर अलर्ट के साथ ज्ञात अपराधियों का पता लगाने में मदद करेगा. कैमरे, सर्वर, यूपीएस और स्विच की निगरानी के लिए नेटवर्क प्रबंधन प्रणाली (एनएमएस) भी प्रदान की गई है, जिसे अधिकृत कर्मियों द्वारा किसी भी वेब ब्राउज़र से देखा जा सकता है.

रेलवे परिसर की अधिकतम कवरेज सुनिश्चित करने के लिए 4 प्रकार के आईपी कैमरे (डोम टाइप, बुलेट टाइप, पैन टिल्ट जूम टाइप और अल्ट्रा एचडी-4के) लगाए जा रहे हैं. यह बढ़ी हुई सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आरपीएफ अधिकारियों को एक अतिरिक्त मदद करेगा. वीडियो फीड फॉर्म सीसीटीवी कैमरों की रिकॉर्डिंग 30 दिनों के लिए स्टोर की जायेगी.

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