भुवनेश्वर. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आज 90वीं मन की बात को सुनने के लिए राजधानी भुवनेश्वर में विशेष व्यवस्था की गयी थी. अपनी बात के दौरान मोदी ने खेल से लेकर 1975 में लगाई गई इमरजेंसी तक का जिक्र किया, मगर उनकी बात में जैसे ही पुरी जगन्नाथ महाप्रभु की रथयात्रा का जिक्र आया, लोगों में खुशी का ठिकाना नहीं रहा.
राजधानी भुवनेश्वर मंचेश्वर स्थित वनवासी कल्याण आश्रम परिसर में प्रधानमंत्री के मन की बात को सुनने के लिए सामूहिक व्यवस्था की गई थी,
जिसमें केन्द्रीय मंत्री विशेश्वर टुडू, भुवनेश्वर की सांसद अपराजिता षड़ंगी, भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बैजयंत पंडा, अल्पसंख्यक आयोग के सदस्य प्रकाश बेताला, वनवासी कल्याण आश्रम के पदाधिकारी, छात्र एवं स्थानीय लोगों के साथ भाजपा नेता व कार्यकर्ता प्रधानमंत्री के संबोधन को सुनने के लिए उपस्थित थे. आश्रम की तरफ से एलईडी की व्यवस्था की गई थी. इस अवसर पर वनवासी कल्याण आश्रम के पदाधिकारी एवं वरिष्ठ सदस्यों के साथ जैन समाज के वरिष्ट सदस्य वीरेन्द्र बेताला, रतन मणोत एवं तेरापंथ युवक परिषद की पूरी टीम भी उपस्थित रही.