भुवनेश्वर. माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (बीएसई), ओडिशा द्वारा आयोजित वार्षिक हाई स्कूल, मध्यमा संस्कृत और राज्य ओपन स्कूल की परीक्षा इस साल 29 अप्रैल से 6 मई तक आयोजित की जाएगी. यह जानकारी राज्य के मुख्य सचिव सुरेश चंद्र महापात्र ने शुक्रवार को दी.
प्रेस को संबोधित करते हुए कि महापात्र ने कहा कि पिछले दो वर्षों से न केवल ओडिशा या भारत बल्कि पूरी दुनिया कोविद-19 महामारी के कारण बुरी तरह प्रभावित हुई है. राज्य में छात्र समुदाय भी महामारी से अछूते नहीं रह पाया है.
इससे उनकी शिक्षा प्रभावित हुई, क्योंकि कई छात्र स्कूल नहीं जा पा रहे थे और लॉकडाउन और शटडाउन के कारण कई बार स्कूल बंद हो गए थे. 2020-21 के शैक्षणिक सत्र के दौरान महामारी के कारण मैट्रिक परीक्षा रद्द कर दी गई थी और परिणाम मूल्यांकन की एक वैकल्पिक पद्धति के माध्यम से घोषित किए गए थे.
वर्तमान शैक्षणिक वर्ष 2021-22 में स्थिति में सुधार हुआ है और ऑफलाइन कक्षाएं शुरू हो गई हैं. इसे देखते हुए बीएसई को सभी हितधारकों के साथ चर्चा करने और इस साल की मैट्रिक परीक्षा और मूल्यांकन आयोजित करने के तरीके पर निर्णय लेने के लिए कहा गया था.
चर्चा के बाद सभी हितधारकों ने सहमति व्यक्त की कि योगात्मक मूल्यांकन 2 आयोजित किया जाना चाहिए और इसे ऑफ़लाइन मोड में किया जाना चाहिए. परीक्षा प्रत्येक दिन एक विषय के लिए आयोजित की जानी चाहिए और इसे जल्द से जल्द पूरा किया जाना चाहिए.
गर्मी का मौसम आते ही परीक्षा सुबह 8 बजे से शुरू हो जानी चाहिए. जैसा कि 15 मार्च तक पाठ्यक्रम पूरा हो जाएगा, सभी ने अप्रैल के अंतिम सप्ताह तक परीक्षा आयोजित करने का सुझाव दिया है. महापात्र ने कहा कि सभी सुझावों को ध्यान में रखते हुए सरकार ने योगात्मक मूल्यांकन 2 करने का फैसला किया है.
छात्रों पर दबाव कम करने के लिए सरकार ने फैसला किया है कि मूल्यांकन तीन तरीकों से होगा. किसी भी तरीके से प्राप्त किए गए उच्चतम अंक को अंतिम माना जाएगा. पहली दो विधियां मूल्यांकन की वैकल्पिक विधि होंगी और तीसरी बीएसई द्वारा तय की गई मूल्यांकन की नई योजना है.
छात्र अपने स्वयं के स्कूलों में परीक्षा के लिए उपस्थित होंगे, जबकि अन्य स्कूलों के शिक्षकों को पर्यवेक्षक नियुक्त किया जाएगा. उन्होंने कहा कि यदि कोई समस्या आती है तो छात्र नजदीकी स्कूल में परीक्षा में शामिल हो सकेंगे.