नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में मतदाता सूची के विशेष सघन पुनरीक्षण (एसआईआर) शुरु होने से पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मुख्य चुनाव अधिकारी पर निशाना साधते हुए बड़े आंदोलन की चेतावनी दी है। भारतीय जनता पार्टी ने ममता के बयान को हिंसा भड़काने वाला करार दिया है।
शुक्रवार को मीडिया से बातचीत करते हुए भाजपा सांसद डॉ. सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि चुनाव आयोग द्वारा स्वतंत्र, निष्पक्ष, पारदर्शी और स्वस्थ प्रक्रिया से होने वाले चुनावों के लिए निर्धारित एसआईआर की प्रक्रिया के विरुद्ध जिस प्रकार पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने खतरनाक बयान दिया है, वह प्रकारांतर से सीधे हिंसा भड़काने का संकेत देता है। यह अपने आप में तृणमूल कांग्रेस की नैतिकता और पश्चिम बंगाल सरकार की संवैधानिकता दोनों पर प्रश्नचिह्न लगाता है। यह कैसे संभव है कि कानून-व्यवस्था, जो राज्य का विषय है, उस राज्य की मुख्यमंत्री स्वयं इस प्रकार से चुनावी प्रक्रिया पर सवाल खड़े करें?
उन्होंने कहा कि पूर्व में भी पश्चिम बंगाल की सरकार ने जिस प्रकार हिंसा को संरक्षण दिया, उस पर न्यायालयों की कठोर टिप्पणियां रही हैं। ऐसे में यदि मुख्यमंत्री स्वयं सर्वोच्च पद से इस प्रकार के बयान दें, तो यह अत्यंत गंभीर और चिंताजनक है।
उल्लेखनीय है कि पश्चिम बंगाल में आगामी विधानसभा चुनाव से पहले एसआईआर की प्रक्रिया शुरू की जा सकती है। इसको लेकर ममता बनर्जी ने आरोप लगाया कि इस प्रक्रिया में जनता और राज्य सरकार को शामिल नहीं किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बैठकों में सिर्फ कुछ अधिकारियों को बुलाया जा रहा है। उन्होंने सवाल उठाया कि एसआईआर की आड़ में असली मतदाताओं को हटाने की कोशिश हो रही है। उन्होंने इस पूरी प्रक्रिया को ‘एनआरसी लागू करने की साजिश’ बताते हुए कहा कि भाजपा आग से खेल रही है।
साभार – हिस
