गंगटोक, भारत रत्न और स्वर कोकिला लता मंगेशकर के निधन पर सिक्किम सरकार ने राज्य में दो दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है। राज्य गृह विभाग के प्रधान सचिव आर. तेलांग ने इस आशय की सूचना जारी की है।
सिक्किम सरकार ने लता मंगेशकर के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है। अधिसूचना में कहा गया है कि दिवंगत आत्मा के सम्मान में 6 फरवरी और 7 फरवरी को पूरे राज्य में राजकीय शोक रहेगा। इस अवधि मेंराष्ट्रीय ध्वज आधा झुका रहेगा और कोई भी आधिकारिक और मनोरंजक कार्यक्रम नहीं होगा। उल्लेखनीय है कि मशहूर गायिका लता मंगेशकर का रविवार सुबह मुंबई के एक स्थानीय अस्पताल में निधन हो गया।
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मुख्यमंत्री तमांग ने लता मंगेशकर को दी श्रद्धांजलि
गंगटोक, सिक्किम के मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग ने भारत रत्न और स्वर कोकिला लता मंगेशकर के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। लता मंगेशकर ने रविवार सुबह मुंबई में आखिरी सांस ली है।
मुख्यमंत्री तमांग ने अपने आधिकारिक फेसबुक पेज पर लता मंगेशकर को श्रद्धांजलि देते हुए लिखा है कि ‘वरिष्ठ गायिका लता मंगेशकर के निधन की खबर से मुझे गहरा दु:ख हुआ है। वह एक संगीत परिवार से ताल्लुक रखती थीं और पंडित दीनानाथ मंगेशकर और शेवंती मंगेशकर की सबसे बड़ी बेटी थीं। उनके पहले शिक्षक उनके पिता थे, जो एक प्रसिद्ध मराठी संगीतकार और थिएटर कलाकार थे।’
अपने संदेश में मुख्यमंत्री ने कहा है कि लता मंगेशकर को उनकी सात दशकों की लंबी संगीत यात्रा के दौरान भारतीय संगीत उद्योग में उनके योगदान के लिए कई सम्मानों से सम्मानित किया गया है, जिसमें पद्म विभूषण, पद्म भूषण, भारत रत्न, दादासाहेब फाल्के पुरस्कार और फ्रांस के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘लीजन ऑफ ऑनर’ शामिल हैं। उन्होंने कहा है, ‘लता मंगेशकर ने कई देशभक्ति गीतों को अपनी आवाज दी है और उनकी सुनहरी आवाज ने दुनिया को मंत्रमुग्ध किया। उनका निधन देश के लिए अपूरणीय क्षति है। उनके निधन ने एक खालीपन छोड़ दिया है जिसे कभी नहीं भरा जा सकता है।’
मुख्यमंत्री तमांग ने कहा है कि भले ही भारत की कोकिला और एक प्रसिद्ध गायिका अब हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन वह अपने गीतों के माध्यम से सदैव जीवित रहेंगी। उन्होंने शोक संतप्त परिवार और दोस्तों के प्रति भी गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए दिवंगत आत्मा की चिर शांति के लिए प्रार्थना की है।
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