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कालाहांडी विकास परिषद ने मनाया क्रांति दिवस

  • आजादी के बाद से देश ने कई क्षेत्रों में प्रगति की – डा सुनीति मुंड

  • कहा-हमें आर्थिक, सामाजिक, नैतिक आदि सभी क्षेत्रों में लाना है बदलाव

  • 50 से अधिक संस्थाओं के प्रमुख “नेतृत्व सम्मान” से सम्मानित

  • 30 कॉलेज छात्रों को मिला “युवा नेतृत्व” सम्मान

कलाहांडी। भारत के स्वतंत्रता संग्राम में नेताजी सुभाष चंद्र बोस की क्रांतिकारी भूमिका की सरहाना करते हुए कलाहांडी विकास परिषद ने 31 दिसंबर को क्रांति दिवस के रूप में मनाया। कार्यक्रम स्थानीय टाउन हॉल में सुबह 10 बजे से शुरू हुआ। इस बार द्वितीय क्रांति दिवस समारोह कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में पूज्य स्वामी जीवनमुक्तानंद, पुरी शामिल हुए और उन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस के विचारों और विचारों पर प्रकाश डाला और उपस्थित लोगों से देश के लिए प्रतिदिन एक घंटा देने और दस रुपये दान करने को कहा। डॉ राधाकृष्ण मेहर विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल हुए और युवाओं से देश को विकास के पथ पर ले जाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि युवा देश की रीढ़ हैं। इसलिए उन्हें देश के परिवर्तन और विकास में नेतृत्व करना होगा।

इसके बाद परिषद की अध्यक्ष डॉ सुनीति मुंड ने अपने भाषण में क्रांति दिवस और क्रांति यात्रा के महत्व पर प्रकाश डाला और कहा कि आजादी के बाद से देश ने कई क्षेत्रों में प्रगति की है। हालांकि, हम गरीबी, बीमारी, गरीबी, असमानता, अशिक्षा, पूर्वाग्रह, लिंग भेदभाव, गरीबी से पूरी तरह मुक्त नहीं हो पाए हैं। एक के बाद एक सरकार बदलती जा रही है। नीति दर नीति बदल रही है। कहा जाता है कि सभी नीतियों का उद्देश्य आम लोगों का कल्याण और विकास करना है, लेकिन इसका वास्तविक अर्थ कितना है, यह आज निर्णय का विषय है। क्या संविधान में वर्णित अधिकार आम नागरिकों को उपलब्ध हैं? ये भी बहस का मुद्दा बन गया है। तो ऐसे में हमें अपने कानूनी अधिकारों को हासिल करने के साथ-साथ एक विकसित राष्ट्र के निर्माण की दिशा में भी काम करना होगा। हमें आर्थिक, सामाजिक, नैतिक आदि सभी क्षेत्रों में बदलाव लाना है। आज हम इसी के लिए प्रतिबद्ध हैं।

इस अवसर पर विभिन्न समाजों के प्रमुखों एवं 50 से अधिक संस्थाओं के प्रमुखों को “नेतृत्व सम्मान” से सम्मानित किया गया। 30 महाविद्यालयों के युवा नेताओं को भी “युवा नेतृत्व” पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इस मंच ने विभिन्न समूहों, समुदायों और संस्थानों को एक साथ लाकर समाज को सद्भाव, एकता और एकजुटता का संदेश दिया और जनता को समाज के समग्र विकास के लिए प्रोत्साहित किया।

प्रतिबद्ध नेताओं में जगन्नाथ मुंड, वृषभ राउत, केशव मेहर, हरदानंद पटेल, संयुक्त बेहरा, शंकर मेहर, पद्मा महाराणा, सोनम जैन, नवारण सिंह, जयनारायण बाबू, शांतनु मुंड, अशोक मुंड, डॉ. जनंधर मेहर, गणेश प्रसाद शामिल थे। समाज के विकास के लिए अग्रवाल, शांतनु बेहरा, तरूण महापात्र, प्रदीप डी माझी, जयंत मुंड,  सुदेशना पंडा, पच्चुमन जेना, लोचन साहू, अशोक सिंह, सूर्यनारायण नंद, प्रशांत नाइक, प्रशांत ठाकुर, कार्तिक पायल, गणेश कुमार, प्रदीप साहू, सरोज नंदा, निरपराज साहू, डोगोबिंद साहू, माले मुंड, जगन्नाथ त्रिपाठी, धबलेश्वर ठाकुर, उमेश सतपथी, शशि सिथरा, गौर पंडा, त्रिनाथ मुंड, चक्रधर ठाकुर प्रमुख रूप से उपस्थित थे। 30 कॉलेज छात्रों को “युवा नेतृत्व” सम्मान दिया गया और आने वाले दिनों में देश की भलाई के लिए नेतृत्व करने के लिए खुद को तैयार करने के लिए प्रोत्साहित किया गया। जगन्नाथ त्रिपाठी, सुरेंद्र पंडा व उनकी टीम ने संगीत की प्रस्तुति दी। स्नेहलता सारंगी ने देवपाठ किया। मंच का संचालन सत्यनारायण महापात्रा एवं बनश्री दास ने किया। तुलसी हमारी संस्कृति है, इसलिए कार्यक्रम में सभी आमंत्रितों और गणमान्य व्यक्तियों को तुलसी दिए गए। अंत में, “क्रांति” जुलूस टाउन हॉल से निकला और शहर की परिक्रमा करते हुए राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के कार्यालय पर समाप्त हुआ। इसमें भवानीपटना और कलाहांडी जिले से बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।

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