Sat. Apr 12th, 2025

भुवनेश्वर. ओडिशा में जंगलों पर आफत आ पड़ी है. राज्य में सिमिलिपाल बाघ अभ्यारण्य समेत बीते तीन दिनों से 394 जंगलों में आग लगी है. यह जानकारी भारतीय वन सर्वेक्षण (एफएसआई) ने देते हुए कहा है कि ओडिशा में 394 अन्य वन क्षेत्र भी आग की चपेट में हैं.

एफएसआई के अनुसार, इन जंगलों में आग से वन्यजीवों की प्रजातियों, औषधीय पौधों और बड़े पैमाने पर पर्यावरण को भारी खतरा है.

जानकारी के अनुसार, गुरुवार को 154 स्थानों पर जंगल में आग की सूचना मिली थी. हालांकि कई क्षेत्रों में आग को नियंत्रण में लाया गया है.

सिमिलिपाल बाघ अभ्यारण्य में भीषण आग को लगे हुए अब 12 दिनों से अधिक हो गये. वन विभाग के अधिकारी पिछले कुछ दिनों से आग की लपटों को बुझाने के मिशन पर हैं, लेकिन सिमिलिपाल राष्ट्रीय उद्यान के 30 से अधिक क्षेत्रों में अभी भी आग फैल गयी है.

खबरों के अनुसार, अग्निशमन अधिकारियों ने अनंतपुर, बालिनल, खंडाचिरा और नचीपुर इलाकों में आग को काबू पाने में सफलता हासिल हुई है, जबकि सिमिलिपाल टाइगर रिजर्व के उत्तरी भाग में बारेहीपानी, तुलसीबाना, चंदेईपहाड़, गुदुगुड़िया और नाना क्षेत्र में आग पर काबू पाने की कोशिशें जारी हैं.

इसके अलावा, अभयारण्य के मुख्य और बफर क्षेत्रों की खाड़ी में विनाशकारी आग को काबू पाने के लिए एक विशेष टीम बनाई गई है. पीसीसीएफ (वन्यजीव) शशि पॉल ऑपरेशन की निगरानी कर रहे हैं. उन्होंने मीडिया से कहा कि राष्ट्रीय उद्यान के मुख्य क्षेत्र सुरक्षित हैं.

पॉल ने कहा कि सिमिलिपाल में 209 बीट क्षेत्रों में से केवल 2-3 स्थानों पर बड़े पैमाने पर आग की सूचना मिली थी, लेकिन यह अभी नियंत्रण में है. केवल सूखी पत्तियों और झाड़ियों को आग से नुकसान पहुंचा है. कोई अन्य पेड़ आग की चपेट में नहीं आये हैं.

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By desk

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