भुवनेश्वर। राज्य सरकार ने कृषि व कृषक सशक्तिकरण विभाग को ‘मो सरकार’ कार्यक्रम में शामिल कर लिया है। इस अवसर पर लोकसेवा भवन में एक विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में उदवोधन देते हुए मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने कहा है कि 1999 में चक्रवाती तूफान के दौरान ओडिशा को अनाज के लिए अन्य राज्यों पर निर्भर होना पडता था, लेकिन वर्तमान स्थिति में इसमें काफ बदलाव आया है और अब सार्वजनिक वितरण प्रणाली में अनाज उपलब्ध कराने के मामले में ओडिशा का स्थान पूरे देश में तीसरे स्थान पर है। इसका श्रेय राज्य के किसानों को जाता है। उन्होंने कहा कि ओडिशा को हाल ही के वर्षों में पांच बार कृषि कर्मण पुरस्कार भी प्राप्त हुआ है । इस कारण राज्य सरकार किसान व खेती को सबसे अधिक महत्व दे रही है। उन्होंने कहा कि इस योजना में कृषि व कृषक सशक्तिकरण विभाग का शामिल होना किसानों के सशक्तिकरण के लिए एक बड़ा कदम है । उन्होंने कहा कि किसान ही सही मायनों में कृषि विभाग के मालिक हैं। इस कारण उनके विकास के लिए कृषि विभाग कर्मचारी काम करें। उन्होंने कहा कि कृषि विभाग के कार्य से किसान कितने संतुष्ट हैं तथा उन्हें किसानों को सेवा प्रदान के क्षेत्र में कितनी सफल है. यह जानना मो सरकार’ कार्यक्रम का उद्देश्य है। इस कार्यक्रम के तहत वह स्वयं किसानों को व्यक्तिगत रुप से फोन करेंगे उन्हें मिल रही सेवाओं के बारे में जानकारी लेंगे। यदि किसानों की प्रतिक्रिया अच्छी रहती है, तो कर्मचारियों को प्रशंसा पत्र के साथ प्रोत्साहन दिया जाएगा। यदि नकारात्मक प्रतिक्रिया मिलती है तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। इस अवसर पर कृषि विभाग के सचिव सौरव गर्ग ने मो सरकार’ कार्यक्रम के प्रयोग के संबंध में जानकारी दी। इस अवसर पर फाइव टी विभाग के सचिव वीके पांडियान ने कृषि विभाग में इस कार्यक्रम को कैसे जिले स्तर पर लागू किया जाएगा इसके बारे में जानकारी दी। कार्यक्रम में कृषि व कृषक सशक्तिकरण मंत्री अरुण साहु, विभागीय सलाहकार, मुख्य सचिव के साथ-साथ वीडियो कानफ्रेन्स के जरिये 30 जिलों के जिलाधिकारी व कृषि विभाग के जिलास्तर के अधिकारी उपस्थित थे।
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