भुवनेश्वर-अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ समाज और सरकार के बीच में सेतु की तरह कार्य करते हुए शिक्षा, शिक्षकों और राष्ट्र के व्यापक हित में काम करने के लिए निरंतर गतिशील है। यह विचार महासंघ के उच्च शिक्षा संवर्ग की अखिल भारतीय कार्यसमिति की दो दिवसीय ऑनलाइन बैठक के समापन के अवसर पर महासंघ के अध्यक्ष प्रोफेसर जे पी सिंघल ने व्यक्त किए ।
चार सत्रों में चली इस वार्षिक बैठक के प्रथम सत्र में प्रोफेसर जे पी सिंघल ने शैक्षिक महासंघ द्वारा उच्च शिक्षा के क्षेत्र में वर्ष पर्यंत किए गए विभिन्न कार्यों का ब्यौरा रखते हुए विश्वविद्यालय अनुदान आयोग और मानव संसाधन विकास मंत्री के साथ हुई भेंट वार्ताओं का विस्तृत विवरण दिया ।
द्वितीय सत्र में सचिव डॉ मनोज सिन्हा ने वर्तमान परिस्थितियों में महासंघ के वैचारिक कार्य को लेकर प्रस्तावना रखी । सत्र में देशभर के विभिन्न विश्वविद्यालयों के कार्यकर्ताओं ने सक्रिय सहभाग करते हुए समाज जीवन के विभिन्न क्षेत्रों में राष्ट्र विरोधी तत्वों द्वारा फैलाए गए झूठ के विरुद्ध एकजुट होकर कार्य करने का संकल्प व्यक्त किया। महासंघ के उपाध्यक्ष प्रोफेसर प्रग्नेश शाह ने विषय के बिंदुओं को रेखांकित करते हुए कार्य योजना का प्रारूप सदन के समक्ष रखा। तृतीय सत्र में उच्च शिक्षा और शिक्षकों की समस्याओं पर विशद विचार विमर्श किया गया तथा शिक्षक हितों से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर और अधिक सक्रियता से कार्य करना तय किया गया।इस सत्र का संचालन संयुक्त मंत्री डाॅ नारायण लाल गुप्ता ने किया।
चतुर्थ सत्र में संगठन मंत्री महेंद्र कपूर ने संगठन में नियमित कार्यक्रम, सदस्यता, बैठक, अभ्यास वर्ग, परिचय वर्ग आदि के महत्व को बताते हुए शिक्षक, समाज और राष्ट्र हित में सक्रियता से योजना पूर्वक कार्य करने का आह्वान किया।
बैठक का प्रारंभ संयुक्त मंत्री ममता डी के द्वारा सरस्वती वंदना से तथा समापन महामंत्री शिवानंद सिंदनकेरा द्वारा कल्याण मंत्र के साथ हुआ। बैठक में सह संगठन मंत्री ओमपाल सिंह, उच्च शिक्षा संवर्ग प्रभारी महेंद्र कुमार अतिरिक्त महामंत्री डाॅ निर्मला यादव सहित देश के विभिन्न राज्यों से 134 प्रतिनिधि उपस्थित रहे।