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दल विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप
भुवनेश्वर। बीजू जनता दल (बीजद) ने रविवार को ढेंकानाल सदर के पूर्व ब्लॉक अध्यक्ष विभु प्रसाद देहुरी को दल विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में पार्टी से निलंबित कर दिया। यह निलंबन बीजद के भीतर उभरती आंतरिक असहमति और संगठनात्मक खींचतान का ताज़ा संकेत माना जा रहा है।
पार्टी की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि विभु प्रसाद देहुरी, पूर्व अध्यक्ष, बीजू जनता दल, सदर ब्लॉक, ढेंकानाल को दल विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के कारण बीजद से तत्काल प्रभाव से निलंबित किया जाता है।
हालांकि, पार्टी ने अपने संक्षिप्त बयान में यह स्पष्ट नहीं किया कि किन विशेष गतिविधियों के चलते यह कार्रवाई की गई है। लेकिन इसे अनुशासनात्मक संकेत के तौर पर देखा जा रहा है जो पार्टी में बढ़ती असंतोष की भावना को दर्शाता है।
लगातार हो रहे ‘शांत’ इस्तीफे
देहुरी का निलंबन एक और बड़े राजनीतिक घटनाक्रम के कुछ ही दिन बाद हुआ है। पिछले हफ्ते पूर्व मंत्री प्रफुल्ल सामल के पुत्र और भद्रक नगरपालिका के पूर्व चेयरमैन प्रयासकांति सामल ने बीजद से इस्तीफा दे दिया था। हालांकि उन्होंने अपने इस्तीफे का कारण “व्यक्तिगत कारण” बताया, लेकिन यह पार्टी छोड़ने वाले नेताओं की बढ़ती फेहरिस्त में एक और नाम जुड़ने जैसा है।
पुरी में गुप्त बैठकों ने बढ़ाई अटकलें
पुरी जिले में भी असंतोष के संकेत सामने आए हैं। हाल ही में वरिष्ठ नेता प्रताप देव के आवास पर एक संगठनात्मक बैठक हुई जिसमें कई जिला स्तरीय नेता तो शामिल हुए, लेकिन वर्तमान विधायक और पूर्व मंत्रियों को न्योता नहीं दिया गया।
इस चयनात्मक बुलावे और बैठक की टाइमिंग, जो नई अनुशासनात्मक समिति के गठन के तुरंत बाद हुई, ने जिला इकाई में गुटबाजी की अटकलों को हवा दी है।
पीएसी की वापसी और वरिष्ठ नेताओं की नाराजगी
राज्य स्तर पर पार्टी ने 25 साल बाद राजनीतिक मामलों की समिति (पीएसी) को पुनः सक्रिय किया है। इसकी अध्यक्षता खुद मुख्यमंत्री नवीन पटनायक कर रहे हैं। यह कदम पार्टी पर नियंत्रण को मजबूत करने के रूप में देखा जा रहा है।
हालांकि, इस समिति के गठन में जिन नेताओं को शामिल किया गया है, उसे लेकर कई वरिष्ठ नेता असंतुष्ट हैं। अंदरखाने में नाराजगी और असहमति लगातार बढ़ती दिख रही है।