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एमओयू साइन, भुवनेश्वर में तीन बसों से होगा ट्रायल रन शुरू
भुवनेश्वर। ओडिशा सरकार राज्य में हरित और सतत सार्वजनिक परिवहन को बढ़ावा देने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाने जा रही है। इस क्रम में राज्य में पहली बार हाइड्रोजन चालित बसों की शुरुआत की जा रही है। इस महत्वाकांक्षी परियोजना की शुरुआत भुवनेश्वर से होगी, जहां तीन हाइड्रोजन बसें ट्रायल रन के तहत सड़कों पर उतरेंगी। इस संबंध में राज्य सरकार और एक अग्रणी क्लीन एनर्जी कंपनी के बीच समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर हो चुका है।
प्रारंभिक चरण में भुवनेश्वर को मिला प्राथमिकता
राज्य के आवास और शहरी विकास मंत्री कृष्ण चंद्र महापात्र ने शनिवार को जानकारी देते हुए बताया कि भुवनेश्वर में तीन हाइड्रोजन बसों का पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया जाएगा। इन बसों के संचालन, रखरखाव और ईंधन आपूर्ति के लिए विशेष रूप से एक डेडिकेटेड डिपो की स्थापना की जाएगी, जहां हाइड्रोजन ईंधन भरने और बसों की तकनीकी जांच की पूरी व्यवस्था होगी।
कार्बन उत्सर्जन में कटौती और स्वच्छ भविष्य की ओर कदम
राज्य परिवहन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस परियोजना का मुख्य उद्देश्य पारंपरिक डीज़ल और पेट्रोल चालित बसों की तुलना में स्वच्छ, ऊर्जा-कुशल और शोर रहित विकल्प प्रदान करना है। इससे राज्य के कार्बन फुटप्रिंट को कम करने में भी मदद मिलेगी और यह ओडिशा सरकार की हरित ऊर्जा को अपनाने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
ट्रायल के बाद पूरे राज्य में विस्तार की योजना
भुवनेश्वर में ट्रायल रन के दौरान इन बसों की कार्यक्षमता, यात्रियों की प्रतिक्रिया और तकनीकी पक्षों का मूल्यांकन किया जाएगा। इसके बाद सरकार अन्य शहरों और जिलों में भी हाइड्रोजन बसों का विस्तार करने का निर्णय लेगी। यदि यह पायलट सफल होता है, तो ओडिशा देश के उन अग्रणी राज्यों में शामिल हो जाएगा, जो हाइड्रोजन आधारित सार्वजनिक परिवहन प्रणाली को अपनाने की दिशा में अग्रसर हैं।
भविष्य की यात्रा को ग्रीन बनाएगा ओडिशा
हाइड्रोजन बसों की शुरुआत शहरी आवागमन को क्रांतिकारी रूप से बदल सकती है। यह परियोजना न केवल प्रदूषण कम करेगी, बल्कि ईंधन की लागत को भी घटाएगी और यात्रियों को एक आधुनिक, आरामदायक और पर्यावरण-मित्र परिवहन सुविधा उपलब्ध कराएगी।