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भुवनेश्वर और कटक के लिए एलिवेटेड कॉरिडोर, फ्लाईओवर, अंडरपास और रिंग रोड निर्माण पर हुई विस्तृत चर्चा
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मुख्यमंत्री ने 366 विस्थापित परिवारों के पुनर्वास और आर्थिक सहायता का भी दिया भरोसा
भुवनेश्वर। मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने शनिवार को लोक सेवा भवन में एक उच्चस्तरीय बैठक आयोजित कर ट्विन सिटी भुवनेश्वर-कटक के लिए लोक निर्माण विभाग द्वारा संचालित विभिन्न परियोजनाओं की समीक्षा की। बैठक में राजधानी क्षेत्र के समग्र विकास और बढ़ती यातायात समस्या को दूर करने हेतु तैयार की गई योजनाओं पर विस्तार से चर्चा की गई।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राजधानी की बढ़ती आबादी और यातायात को देखते हुए सुव्यवस्थित ढांचागत विकास अनिवार्य हो गया है। बैठक में जयदेव विहार से नंदनकानन तक एलिवेटेड कॉरिडोर निर्माण, पटिया स्टेशन चाक से सुंगा मौजा तक दया पश्चिम नहर के किनारे सड़क निर्माण, सुंदरपाड़ा-जटनी मार्ग का चौड़ीकरण तथा कल्याण मंडप चौक, म्यूजियम चौक और शिशु भवन चौक पर तीन फ्लाईओवर के निर्माण की समीक्षा की गई। इसके अलावा एजी चौक पर अंडरपास निर्माण की भी योजना पर चर्चा हुई।
मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि मैथमेटिक्स संस्थान से पाथरगड़िया, उत्कल अस्पताल और रेल विहार होकर एकाम्र कानन तक एक वैकल्पिक समानांतर सड़क का निर्माण किया जा रहा है। डमणा से प्रेस चौक, कलारहांगा से बारिमुंडा और केलुचरण पार्क से बारिमुंडा तक तीन नई संपर्क सड़कों की भी योजना बनाई गई है। शहर के भीतर यातायात को सुचारु करने के उद्देश्य से एक भीतरी रिंग रोड (इनर रिंग रोड) का निर्माण भी प्रस्तावित है।
मुख्यमंत्री माझी ने विश्वास जताया कि ये परियोजनाएं न केवल राजधानी की यातायात संबंधी समस्याओं का स्थायी समाधान देंगी, बल्कि शहर की सुंदरता और विकास को भी नई दिशा देंगी।
बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि निर्माण कार्यों के कारण प्रभावित होने वाले लगभग 366 परिवारों का उचित पुनर्वास किया जाएगा और उन्हें राज्य सरकार द्वारा वित्तीय सहायता दी जाएगी।
बैठक में लोक निर्माण, विधि और उत्पाद मंत्री पृथ्वीराज हरिचंदन, आवास एवं शहरी विकास मंत्री कृष्ण चंद्र महापात्र, मुख्य सचिव मनोज आहूजा, विकास आयुक्त अनु गर्ग, लोक निर्माण विभाग के प्रमुख सचिव संजय कुमार सिंह, आवास एवं शहरी विकास विभाग की प्रमुख सचिव उषा पाढ़ी, वित्त विभाग के प्रमुख सचिव सस्वत मिश्रा, पुलिस आयुक्त एस. देवदत्त सिंह सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
राज्य सरकार ने स्पष्ट किया कि राजधानी क्षेत्र के समन्वित और सुव्यवस्थित विकास हेतु यह एक महत्त्वपूर्ण पहल है, जिससे आने वाले वर्षों में भुवनेश्वर-कटक क्षेत्र एक आदर्श नगरीय ढांचे का स्वरूप ले सकेगा।