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15 मिलियन स्क्वायर मीटर में होगा निर्माण, पीपीपी मॉडल पर होगा विकास
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हैदराबाद, बेंगलुरू और चेन्नई की तरह बड़े आईटी ब्रांड्स होंगे आकर्षित
भुवनेश्वर। ओडिशा सरकार के कानून, निर्माण और आबकारी मंत्री पृथ्वीराज हरिचंदन ने कहा कि ओडिशा सरकार अब राज्य को देश का अगला आईटी हब बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठा रही है। कटक और भुवनेश्वर में 15 मिलियन स्क्वायर मीटर क्षेत्र में एक अत्याधुनिक आईटी हब का निर्माण किया जाएगा। यह प्रोजेक्ट पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल पर विकसित किया जाएगा, जिसमें देश-विदेश की प्रमुख आईटी कंपनियों को आकर्षित करने की व्यापक योजना तैयार की गई है।
हैदराबाद-बेंगलुरू मॉडल से मिलेगी प्रेरणा
इस हब की संरचना और योजनाएं हैदराबाद, बेंगलुरू और चेन्नई जैसे स्थापित टेक शहरों के सफल मॉडलों से प्रेरित होंगी। ओडिशा सरकार का लक्ष्य है कि यहां टेक्नोलॉजी, इनोवेशन और स्टार्टअप सेक्टर को वह गति दी जाए, जो अब तक केवल कुछ गिने-चुने महानगरों को मिली है।
आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनियों को मिलेगा समर्पित स्पेस
प्रस्तावित आईटी हब में विशेष रूप से सॉफ्टवेयर पार्क्स, डेटा सेंटर, स्टार्टअप ज़ोन, आरएंडडी प्रयोगशालाएं और इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स के लिए ज़ोन तय किए जाएंगे। ग्लोबल कंपनियों को आकर्षक नीति के तहत भूमि, टैक्स और इंफ्रास्ट्रक्चर की सुविधाएं दी जाएंगी।
लोकल टैलेंट को मिलेगा बड़ा प्लेटफॉर्म
इस हब के निर्माण से ओडिशा के हजारों आईटी ग्रेजुएट्स और प्रोफेशनल्स को अब अपने राज्य में ही रोज़गार और नवाचार का मौका मिलेगा। भुवनेश्वर, कटक और आसपास के जिलों के युवाओं को स्किल ट्रेनिंग और इंटर्नशिप के अवसर भी मिलेंगे।
स्मार्ट इन्फ्रास्ट्रक्चर, डिजिटल कनेक्टिविटी पर रहेगा फोकस
आईटी हब को हाई-स्पीड इंटरनेट, ग्रीन बिल्डिंग्स, ट्रांजिट कॉरिडोर और स्मार्ट लॉजिस्टिक नेटवर्क से जोड़ा जाएगा। यह परियोजना 2036 तक राज्य को टेक्नोलॉजी इन्वेस्टमेंट का केंद्र बनाने की दिशा में बड़ा मील का पत्थर साबित होगी।