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उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश चक्रधारी शरण सिंह ने शपथ दिलाई
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लोगों की सेवा, प्रगति, समरसता और विकास को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्धता जतायी
भुवनेश्वर। मिज़ोरम के पूर्व राज्यपाल डॉ हरि बाबू कंभमपति ने शुक्रवार को भुवनेश्वर स्थित राजभवन के अभिषेक हॉल में आयोजित एक विशेष समारोह में ओडिशा के 27वें राज्यपाल के रूप में शपथ ग्रहण की। ओडिशा उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश चक्रधारी शरण सिंह ने उन्हें शपथ दिलाई।
समारोह में मुख्यमंत्री मोहन माझी, विपक्ष के नेता नवीन पटनायक, उप मुख्यमंत्री केवी सिंहदेव, श्रीमती प्रभाती परिडा और राज्य सरकार के मंत्री, विधानसभा अध्यक्ष श्रीमती सुरमा पाढ़ी, मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक, ट्विन सिटी पुलिस आयुक्त और कई गणमान्य लोग शामिल हुए। शपथ ग्रहण के बाद कंभमपति ने राजभवन में गार्ड ऑफ ऑनर स्वीकार किया।
शपथ ग्रहण के बाद डॉ हरि बाबू कंभमपति ने सोशल मीडिया पर अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त करते हुए लिखा कि ओडिशा के राज्यपाल के रूप में शपथ ली। यह एक ऐसी भूमि है जो अपनी अनंत संस्कृति, समृद्ध इतिहास और अदम्य आत्मा के लिए जानी जाती है। मैं यहां के लोगों की सेवा और प्रगति, समरसता और विकास को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध हूं। आइए, मिलकर एक उज्ज्वल भविष्य की ओर काम करें। जय जगन्नाथ, वंदे उत्कल जननी, जय हिंद।
उल्लेखनीय है कि कंभमपति अपने परिवार के साथ गुरुवार को राज्य की राजधानी पहुंचे। इसके बाद मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी, अध्यक्ष सुरमा पाढ़ी, उपमुख्यमंत्री केवी सिंहदेव और प्रभाती परिडा, मुख्य सचिव मनोज कुमार आहूजा और पुलिस महानिदेशक वाईबी खुरानिया ने उनका एयरपोर्ट पर स्वागत किया था।
भुवनेश्वर पहुंचने के बाद कंभमपति और उनके परिवार ने पुरी में जगन्नाथ मंदिर जाकर राज्य और उसके लोगों की भलाई के लिए भगवान का आशीर्वाद लिया।
पुरी श्रीमंदिर में दर्शन करने के बाद डॉ हरि बाबू कंभमपति ने कहा कि राज्यपाल के रूप में दायित्व ग्रहण करने से पहले पुरी में महाप्रभु जगन्नाथ जी, भगवान बलभद्र और माता सुभद्रा का दिव्य आशीर्वाद लिया। उनकी कृपा मुझे इस पवित्र भूमि के लोगों की सेवा में समर्पित रहने की शक्ति प्रदान करे।
डॉ कंभमपति, जो मिज़ोरम के पूर्व राज्यपाल रहे हैं, को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा 24 दिसंबर को ओडिशा का राज्यपाल नियुक्त किया गया। यह नियुक्ति रघुवर दास के पद से इस्तीफा देने के बाद हुई।