भुवनेश्वर। ओडिशा को तीन और अतिरिक्त डॉपलर रडार मिलने वाले हैं। इसका उद्देश्य मौसम पूर्वानुमान में सुधार और आपदा तैयारियों को बढ़ाना है। सोमवार को भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने इसकी घोषणा की।
आने वाले दिनों में भुवनेश्वर, बालेश्वर और संबलपुर में रडार स्थापित किए जाएंगे, जो राज्य की मौसम संबंधी क्षमताओं में महत्वपूर्ण उन्नयन का प्रतीक होगा।
इन प्रतिष्ठानों से महत्वपूर्ण डेटा मिलने की उम्मीद है, जिससे चक्रवात और भारी वर्षा जैसी गंभीर मौसम की घटनाओं के बारे में अधिक सटीक पूर्वानुमान लगाना संभव हो सकेगा। शहरी बाढ़ के प्रति संवेदनशील भुवनेश्वर और कटक को मौसम की भविष्यवाणियों की बढ़ी हुई सटीकता से बहुत लाभ होगा। बेहतर पूर्वानुमानों के साथ, ये शहर संभावित रूप से जलवायु घटनाओं के प्रभाव को कम कर सकते हैं और नुकसान और क्षति के जोखिम को कम कर सकते हैं।
राडार प्रतिष्ठानों के अलावा, बालेश्वर में बिजली पर केंद्रित एक समर्पित अनुसंधान केंद्र स्थापित किया जाएगा। इस केंद्र का उद्देश्य बिजली के पैटर्न और घटनाओं के बारे में गहन जानकारी प्रदान करना है, जिससे सुरक्षा उपायों और रणनीतियों में सुधार करने में मदद मिलेगी।
यह पहल बेहतर मौसम प्रबंधन और आपदा जोखिम न्यूनीकरण के लिए तकनीकी प्रगति का लाभ उठाने के लिए ओडिशा की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है। आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्रा ने कहा कि रडार स्थापित करने के बाद, अगले तीन घंटों के लिए खराब मौसम की स्थिति के बारे में सटीक भविष्यवाणी की जा सकेगी। हम बालेश्वर में बिजली पर केंद्रित एक शोध केंद्र भी स्थापित करने जा रहे हैं। इसके लिए प्रक्रिया अभी चल रही है।
एक दिन पहले ही संबलपुर के जमदारपाली में डॉप्लर रडार लगाने की प्रक्रिया शुरू हुई। राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री सुरेश पुजारी ने इस परियोजना का उद्घाटन किया। इस परियोजना को छह महीने में पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। इसकी अनुमानित लागत 5 करोड़ रुपये है।