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अधिकांश नदियां उफान पर, मोटू क्षेत्र के करीब 6 से 7 गांव भी बाढ़ के पानी में डूबे
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राष्ट्रीय राजमार्ग-326 पर 10 फीट की ऊंचाई पर बाढ़ का पानी बहने से सैकड़ों ट्रक फंसे
भुवनेश्वर/मालकानगिरि. ओडिशा में जारी भारी बारिश के कारण अधिकांश नदियां उफान पर हैं और मालकानगिरि जिले के मोटू इलाके में मूसलाधार बारिश जारी है. इससे 36 साल पुराने बारिश के रिकॉर्ड को तोड़ दिया है. कई गांवों में बाढ़ का पानी का प्रवेश करना जारी है. सबेरी और सिलेरू नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं. राष्ट्रीय राजमार्ग-326 पर लगभग 10 फीट की ऊंचाई तक बाढ़ का पानी बहने से सैकड़ों ट्रक फंस गये हैं. आंध्र प्रदेश, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना के बीच वाहनों की आवाजाही बाधित हो गई. पुराने मोटू क्षेत्र के तीन गांव अब जलमग्न हो गये हैं. इसी तरह मोटू क्षेत्र के करीब 6 से 7 गांव भी बाढ़ के पानी में डूब गये हैं. प्रशासन द्वारा नावों की मदद से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है. पड़ोसी आंध्र प्रदेश में गोदावरी नदी के बैकवाटर के गांवों और खेतों में पानी भर जाने के बाद जिले के कई हिस्से बाढ़ की चपेट में हैं।
पोलावरम परियोजना के कारण बरप रहा कहर
स्थानीय लोगों ने मोटू क्षेत्र में बाढ़ जैसी स्थिति के लिए पोलावरम परियोजना को जिम्मेदार ठहराया है. कहा जा रहा है कि इससे पानी का विपरीत प्रवाह हो रहा है. स्थानीय लोगों को डर है कि अगर निर्माणाधीन पोलावरम परियोजना पूरी हो जाती है, तो मालकानगिरि के कुछ हिस्से पानी के नीचे ही रह जायेंगे. परियोजना पूरी हो जाने के बाद सिलेरू और सबेरी नदियां उफान पर रहेंगी, क्योंकि गोदावरी का पानी नहीं छोड़ा जायेगा. स्थानीय लोगों ने कहा कि स्थिति गंभीर होने से पहले बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के निवासियों के पुनर्वास के लिए तुरंत कदम उठाए जाने चाहिए.
राज्य में जनजीवन प्रभावित
भारी बारिश के कारण राज्य के अधिकांश जिलों में जनजीवन बेहाल हो गया है. निचले इलाके जलमग्न हो गये हैं. अस्थायी बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गयी है. मौमस विभाग ने कहा है कि अभी लोगों को बारिश से राहत मिलने के आसार नहीं है. अगले 24 घंटों के दौरान भारी से बहुत बारिश की संभावना है.