तालचेर. स्थानीय लोगों ने तालचेर से यात्रीवाही ट्रेनों के परिचालन की मांग की है. साथ ही चेतावनी भी दी है कि यदि उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जायेगा, तो जन आंदोलन करेंगे. कहा गया है कि ट्रेन की व्यवस्था ठीक न होने से स्थानीय जनता काफी परेशान है. जनता की मांग है कि इस ओर चलने वाली सभी यात्रीवाही ट्रेनों को तालचेर से होकर चलाया जाये. इस बाबत तालचेर परिवेश सुरक्षा समिति की ओर से स्थानीय उपजिलाधिकारी के माध्यम से देश के केन्द्रीय रेल मंत्री को एक मांग पत्र सौंपा गया. तालचेर परिवेश सुरक्षा समिति का कहना है कि देश आजाद होने से पहले से ही तालचेर से कोयला ढो़ने के लिए मालवाही ट्रेनों का परिचालन आरंभ हो गया था. वर्तमान में रोजाना सैकड़ों कोयलालदी ट्रेनें तालचेर से निकलती हैं, जिससे सरकार को प्रतिवर्ष हजारों करोड़ रुपये राजस्व की प्राप्ति होती है, लेकिन स्थानीय जनता की सुविधा के लिए यात्रीवाही ट्रेनों का अभाव है. इसलिए मांग है कि सभी सवारी ट्रेनों, एक्सप्रेस ट्रेनों, सुफरफास्ट ट्रेनों को तालचेर स्टेशन से होकर चलाया जाए. साथ ही तालचेर बिमलागढ़ रेलपथ का निर्माण शीघ्र पूरा करने, तालचेर से कन्हिया तक सवारी ट्रेन चलाने, कोयला लदी ट्रेनों को तिरपाल से ढंकने आदि मांगों को लेकर एक ज्ञापन संगठन की ओर से उपजिलाधिकारी को सौंपा गया.
तालचेर परिवेश सुरक्षा समिति के संयोजक पद्मचरण सामल, समिति के वरिष्ठ सदस्य तथा तेंटुलेइ ग्रामपंचायत के पूर्व समिति सदस्य विनोद लाल,विजुगोल ग्रामपंचायत के सरपंच तथा महिलानेत्री मानसी स्वाईं, श्रमिक नेता प्रह्लाद चंद्र साहू, कैलाश चंद्र साहू आदि ने उपजिलापाल कार्यालय में एकत्र होकर संयुक्त रूप से मांग पत्र सौंपा. इसके बाद तालचेर स्थित रेलवे के एआरएम मनोज भारत को भी उपरोक्त मांग पत्र सौंपा गया. इस पर एआरएम ने यह आश्वासन दिया है कि सभी कोयलालदी ट्रेनों को ढंका जाएगा. संगठन की ओर से स्थानीय जनता को संबोधित करते हुए यह अह्वान किया गया है कि इन मांगों को लेकर आगामी दिनों में जन आंदोलन किया जाएगा, जिसमें तालचेर की जनता को बडी़ संख्या में भाग लेने की अपील की गई है.