राजेश दाहिमा, राजगांगपुर
बड़गांव वन विभाग अधीन गांवों सहित कुतरा ब्लाक के विभिन्न स्थानों पर हाथियों का उत्पाद निरंतर जारी है। आये दिन अखबार की सुर्खियां बनने के बाद भी जिला प्रशासन एवं जिला वन विभाग के अधिकारी हाथियों को खदेड़ने में नाकाम साबित हो गए। ऐसा ही एक मामला बड़गांव वन विभाग अधीन कुतरा ब्लाक अंतर्गत कुसुमडेगी गांव में देेेेखने को मिला है। इलाके के ग्रामीणों दहशत के साए में जीवन बिताने पर मजबूर हो गए हैं।
जानकारी के अनुसार, बड़गांव वन विभाग अधीन कुतरा ब्लाक के कुसुमडेगी मारियापाडा गांव में बुधवार की रात में झारखंड-ओडिशा की सीमा के रास्ते से एक 25 हाथियों का झुंड काफी उत्पाद मचाने के साथ पांच लोगों के घर की चारदीवारी तोड़कर घर में रखे धान को चट कर गए। बताया जाता है कि कुसुमडेगी मारियापाड़़ा निवासी सालियां लाकड़ा, नवीन लाकड़ा,आलवेट आइंद, सुनील आइंद एवं प्रफुल लाकड़ा के घरों की चारदीवारी तोड़कर घर में रखे धान चावल चट कर गए। अचानक एक साथ 25 हाथियों के झुंड को देखकर ग्रामीणों में दहशत का माहौल बना हुआ है। बताया जाता है कि ये हाथियों का झुंड पंचरा गांव के गेलइबहाल में जाकर लक्ष्मी संकरा, प्रदीप लाकड़ा एवं दयाजन बांकरा के घरों की चारदीवारी तोड़कर अनाज चट कर गए।
खबर मिलते ही वन विभाग के अधिकारी मौके पर पहुंचे और हाथियों को कुसुमडेगी जंगल की ओर खदेड़ने के बाद जिनके घरों की चारदीवारी तोड़ कर काफी नुकसान पहुंचा है उनको नुकसान की भरपाई करने का आश्वासन दिया।
मालूम हो विगत एक साल से इस इलाके में हाथियों का उत्पाद निरंतर जारी है और जिसमें चार लोगों की जान जा चुकी है, लेकिन अभी तक कोई भी सार्थक कारवाई जिला प्रशासन एवं वनविभाग के अधिकारियों के द्वारा नहीं किए जाने के कारण पूरे इलाके में दहशत का माहौल बना हुआ है।