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देशभर में वर्चुअल तौर पर 36 घंटे की हेकाथॉन गॉव-टैक-थॉन 2020 का आयोजन

नई दिल्ली. आईईईई, राष्‍ट्रीय सूचना विज्ञान केन्‍द्र (एनआईसी) और ओरेकल ने भारत सरकार के इलेक्‍ट्रॉनिक्‍स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के तत्‍वावधान में देशभर में वर्चुअल तौर पर 36 घंटे की हेकाथॉन गॉव-टैक-थॉन 2020 का आयोजन किया, जो गत 1 नवम्‍बर, 2020 को सफलतापूर्वक संपन्‍न हुई. इस वर्चुअल हैकाथॉन के लिए देशभर से 1300 से ज्‍यादा प्रतिभागियों ने अपना नाम दर्ज कराया, जिनकी 390 टीमें बनाई गईं। हैकाथॉन वेबपेज पर पिछले दो हफ्तों में 15,000 से ज्‍यादा लोगों ने इसे देखा। केन्‍द्र सरकार के तीन मंत्रालयों– कृषि एवं कृषक कल्‍याण मंत्रालय, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय और शिक्षा मंत्रालय द्वारा प्रस्‍तुत पांच समस्‍याओं को हल करने के लिए इस हैकाथॉन में शामिल 100 टीमों के 447 प्रतिभागियों को शॉर्ट लिस्‍ट किया गया। ज्‍यूरी के लिए देश के उद्योगों, अकादमिक समुदाय और सरकार से चुने गए 27 सदस्‍यों ने विभिन्‍न प्रस्‍तावों का गहन आकलन किया।

गॉव टैक-थॉन 2020 के लिए जिन पांच चुनौतियों पर नवोन्‍मेषी समाधान मांगे गए थे, वे इस प्रकार हैं–

  1. उत्‍पादकता में वृद्धि लाने के लिए विभिन्‍न क्षेत्रों और स्‍थानीय चुनौतियों को ध्‍यान में रखते हुए और कृत्रिम मेधा प्रौद्योगिकी (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) का उपयोग करते हुए किसानों के लिए अलग-अलग मौसम में वैकल्पिक फसलें और फसल चक्र का सुझाव दें।
  2. बीज की आपूर्ति चेन एक जटिल भू-पारिस्थितिकीय प्रक्रिया है, जिसमें विभिन्‍न भागीदार शामिल हैं। ब्‍लॉक चेन प्रौद्योगिकी का इस्‍तेमाल करते हुए कम उत्‍पादक बीज की समस्‍या का प्रभावी समाधान सुझाएं।
  3. दस्‍तावेजों के (जो जरूरी हैं) स्‍केन, उन्‍हें रिसाइज करने और अपलोड करने के सम्‍बन्‍ध में एक ऐसा मोबाइल/वेबसाइट आधारित एप्‍लीकेशन सुझाएं, जो एक साथ सब कुछ कर सके।
  4. एक रिमोट सुपरविजन सॉफ्टवेयर और वेबकैम के मिश्रण से कोई ऐसा टूल सुझाएं, जो घरों/संस्‍थानों से दी जाने वाली परीक्षाओं की समुचित निगरानी कर सके। यह व्‍यवस्‍था एआई/एमएल इत्‍यादि समुचित प्रौद्योगिकियों का इस्‍तेमाल कर जरूरी अधिप्रमाणन, नियंत्रण, गड़बड़ी की पहचान (फ्राड डिटेक्‍शन) और अनुपालन सुनिश्चित कर सके।
  5. वाहन फिटनेस परीक्षण की प्रक्रिया के स्‍वचालन को पारदर्शी बनाने के लिए एक सेल्‍फ लर्निंग टूल का सुझाव दें।

पहला स्‍थान, रॉबर्ट बॉश इंजीनियरिंग एंड बिजनेस सॉल्‍यूशंस प्राइवेट लिमिटेड की फिट फॉर फ्यूचर टीम को मिला। उसने स्‍वचालित वाहन फिटनेस परीक्षण के लिए एक नवोन्‍मेषी समाधान प्रोटोटाइप का प्रदर्शन किया। दूसरा स्‍थान, वड़ोदरा स्थित भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्‍थान के हैकडेमन्‍स को मिला, जिन्‍होंने दूरदराज दी जाने वाली परीक्षाओं की प्रभावी निगरानी के लिए एक सुरक्षित समाधान प्रस्‍तुत किया। तीसरा स्‍थान, बैंगलूरु स्थित पीईएस यूनिवर्सिटी की आरेंज टीम को मिला, जिसने ब्‍लॉक चेन प्रौद्योगिकी का इस्‍तेमाल करते हुए बीजों के प्रमाणीकरण का एक अनूठा समाधान प्रस्‍तुत किया।

समापन कार्यक्रम में कृषि मंत्रालय, शिक्षा मंत्रालय और परिवहन मंत्रालय के वरिष्‍ठ अधिकारियों के साथ-साथ एनआईसी, ओरेकल तथा आईईईई के वरिष्‍ठ अधिकारियों और आईईईई के कम्‍प्‍यूटर सोसायटी बोर्ड की सदस्‍य प्रोफेसर रामलता मरीमूथू तथा ज्‍यूरी के सदस्‍य और अनुभवी सलाहकारभी उपस्थित थे।

एनआईसी की महानिदेशक डॉ. नीता वर्मा ने समापन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि इस तरह के वर्चुअल हैकाथॉन सामाजिक क्षेत्र और उभरती हुई प्रोद्योगिकियों के अनूठे सम्‍मिश्रण प्रस्‍तुत करते हैं। उन्‍होंने इस बात को भी रेखांकित किया कि हैकाथॉन ने सामाजिक प्रतिभागिता, लोगों के सशक्तिकरण और देश के उत्‍थान में उभरती हुई प्रौद्योगिकियों के इस्‍तेमाल को संभव बनाया है।

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